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झरना

झरना

जय शंकर प्रसाद

21 भाग
0 व्यक्ति ने लाइब्रेरी में जोड़ा
0 पाठक
7 मई 2022 को पूर्ण की गई
निःशुल्क

झरना की कविताओं में कवि के आगामी विकास का आभास प्राप्त हो जाता है और इसी कारण समीक्षक इसे छायावाद युग का एक महत्त्वपूर्ण सोपान मानते हैं। झरना की अधिकांश कविताएँ १९१४-१९१७ ई० के बीच लिखी गईं है। झरना कवि के यौवनकाल की रचना है और इसकी कविताओं से उसकी मनोदशा का बोध होता है। 

झरना

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जय शंकर प्रसाद

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7 मई 2022 को पूर्ण की गई
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झरना की कविताओं में कवि के आगामी विकास का आभास प्राप्त हो जाता है और इसी कारण समीक्षक इसे छायावाद युग का एक महत्त्वपूर्ण सोपान मानते हैं। झरना की अधिकांश कविताएँ १९१४-१९१७ ई० के बीच लिखी गईं है। झरना कवि के यौवनकाल की रचना है और इसकी कविताओं से उसकी मनोदशा का बोध होता है।

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विशेषज्ञ पब्लिशिंग पैकेज
पुस्तक के भाग
1

परिचय

20 अप्रैल 2022

0
0
2

झरना

20 अप्रैल 2022

0
0
3

अव्यवस्थित

20 अप्रैल 2022

0
0
4

पावस-प्रभात

20 अप्रैल 2022

0
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5

किरण

20 अप्रैल 2022

0
0
6

विषाद

20 अप्रैल 2022

0
0
7

बालू की बेला

20 अप्रैल 2022

0
0
8

चिह्न

20 अप्रैल 2022

0
0
9

दीप

20 अप्रैल 2022

0
0
10

कब?

20 अप्रैल 2022

0
0
11

स्वभाव

20 अप्रैल 2022

0
0
12

असंतोष

20 अप्रैल 2022

0
0
13

प्रत्याशा

20 अप्रैल 2022

0
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14

दर्शन

20 अप्रैल 2022

0
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15

हृदय का सौंदर्य

20 अप्रैल 2022

0
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16

होली की रात

20 अप्रैल 2022

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17

रत्न

20 अप्रैल 2022

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0
18

कुछ नहीं

20 अप्रैल 2022

0
0
19

कुछ नहीं

20 अप्रैल 2022

0
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20

कसौटी

20 अप्रैल 2022

0
0
21

अतिथि

20 अप्रैल 2022

0
0
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