अरब का सीतारा फिल्म से शामा गुल कर के ना जा गीत मुबारक बेगम द्वारा गाया जाता है, इसका संगीत सदात खान द्वारा रचित है और गीत एहसान रिज़वी द्वारा लिखे गए हैं।
अरब का सितारा (Arab Ka Sitara )
बदगुमान इतना न बन हाथ झटकने वाले बदगुमान इतना न बन हाथ झटकने वाले हाथ झटकने वाले अपनी बिगड़ी हुई किस्मत को बना भी न सकूँ शामा गुल कर के न जा
एक ही रात में आँसू के चराग इतने जले एक ही रात में आँसू के चराग इतने जले चराग इतने जले ग़म अगर दिल का छिपाऊं तो छिपा भी न सकूँ शामा गुल कर के न जा
जाने वाले मुझे किस राह में छोड़ा तूने जाने वाले मुझे किस राह में छोड़ा तूने छोड़ा तूने याद आ भी न सकूँ तुझको भुला भी न सकूँ शामा गुल कर के न जा यूँ क