जग सोना सोना लेज फिल्म ओम शांति ओम से गीत रत फतेह अली खान और रिचा शर्मा द्वारा गाया जाता है। इसका संगीत विशाल शेखर द्वारा रचित है और गीत जावेद अख्तर द्वारा लिखे गए हैं।
ओम शांति ओम (Om Shanti Om )
जग सूना सूना लगे (Jag Soona Soona Lage ) की लिरिक्स (Lyrics Of Jag Soona Soona Lage )
मैं तां जिया न मरा.. हाय वे दस माईन की करा..
दिल जुड़े बिना ही टूट गए हाथ मिले बिना ही छूट गए की लिखे ने लेख किस्मत ने.. बार बार रोंद अखियाँ तैनू जो न वेख सकियाँ खोले आये आज कुदरत ने.. कट्टा मैं कि वे डी
छन से जो टूटे कोई सपना जग सूना सूना लगे जग सूना सूना लगे कोई रहे न जब अपना जग सूना सूना लगे जग सूना सूना
है तो.. यह क्यों होता है जब यह दिल रोता है रोये सिसक-सिसक के हवायें जग सूना लगे
छन से जो टूटे कोई सपना जग सूना सूना लगे जग सूना सूना लगे कोई रहे न जब अपना जग सूना सूना लगे जग सूना सूना रे..
सूना लागे रे...
रूठी रूठी सारी रातें फीके फीके सारे दिन वीरानी सी वीरानी है तन्हाई सी तन्हाई है और एक हम हैं प्यार के बिन हर पलछिन
छन से जो टूटे कोई सपना जग सूना सूना लगे जग सूना सूना लगे कोई रहे न जब अपना जग सूना सूना लगे जग सूना सूना रे..
पत्थरों की इस नगरी में पत्थर चेहरे पत्थर दिल फिरता है मरा मरा क्यूँ राहों में तू आवारा यहाँ न होगा.. कुछ हासिल मेरे दिल
छन से जो टूटे कोई सपना जग सूना सूना लगे जग सूना सूना लगे कोई रहे न जब अपना जग सूना सूना लगे जग सूना सूना रे..
है तो.. यह क्यों होता है [क्यों होता है] जब यह दिल रोता है [दिल रोता है] रोये सिसक-सिसक के हवायें जग सूना लगे
छन से जो टूटे कोई सपना जग सूना सूना लगे जग सूना सूना लगे कोई रहे न जब अपना जग सूना सूना लगे जग सूना सूना रे..
सूना लागे रे मोहे...