Sharafat Ali Ko Sharafat Ne Mara Lyrics of Amrit (1986) is penned by Anand Bakshi, it's composed by Laxmikant and Pyarelal and sung by Kavita Krishnamurthy, Munna Aziz and Mahendra Jaiswal.
अमृत (Amrit )
किसी को किसी की मोहब्बत ने मारा किसी को किसी की अदावत ने मारा शराफत अली को.. शराफत ने मारा शराफत अली को शराफत ने मारा शराफत अली को..
फलक पर ज़मीन पर
दोस्तों हर बात के मतलब हैं दो एक है मुंह में ज़ुबान और लैब हैं दो हम कँवरे थे तो मसला एक था हो गई शादी तो मसले अब हैं दो
हुई तुमसे शादी
किया तंग ग़म ने
वकालत को छोडो बनो तुम गवैया कमा लो रुपैया
किसी को किसी की मोहब्बत ने मारा किसी को किसी की अदावत ने मारा शराफत अली को शराफत ने मारा शराफत अली को शराफत ने मारा शराफत अली को..