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बचपन

25 दिसम्बर 2021

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एक नव सुख जीवन में आया
एक नन्हा जीवन मुस्काया
कुछ नादानी कुछ शैतानी
कुछ रंग नवल संग में लाया ।

सब उसको गोद उठाते थे
लोरी गा गा के सुलाते थे
रोने पर भागे आते थे
भर अंक उसे सहलाते थे ।

धीरे धीरे वो बड़ा हुआ
अपने पैरों पर खड़ा हुआ
हर्षित घर का हर बड़ा हुआ
बचपन एक सीढ़ी चढ़ा हुआ ।



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