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निगाहो की ज़ीद हे आँखो से आंसु गिरने की, दिल की ज़ीद हे आपसे रिश्ता निभाने की, आपको ज़ीद हे अगर हमे भूलने की तो, हमे भी ज़ीद हे आपको अपनी याद दिलाने की.

29 जुलाई 2015

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विष्णु कसौधन गोंडा की अन्य किताबें

शालिनी प्रसाद

शालिनी प्रसाद

....विष्णु जी , लिखा तो आपने बहुत अच्छा है लेकिन आपने क्या मोबाइल के द्वारा लिखा है .... क्योंकि आपकी रचना मे शीर्षक मे ही सब कुछ लिखा है ... इसलिए लेख दुबारा लिकिए , ताकि हम लोग अच्छे से पढ़ सकें

29 जुलाई 2015

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मेरे दिल ने जब भी कभी कोई दुआ माँगी हे, तब तुज़े माँगी और तेरी वफ़ा माँगी हे, जिस प्यार को देख के दुनियावाले जला करते हे, तेरी मोहब्बत करने की वो प्यारी सी अदा माँगी हे.

29 जुलाई 2015
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जीवन में कमाया हुआ पैसा अगले जन्म काम नही आता लेकिन इस जन्म का कमाया पूण्य अगले जन्मों तक जरूर काम आता है..I

29 जुलाई 2015
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विष्णु कसौधन मसकनवा गोंडा उत्तर प्रदेश हमसे जो भी बात करना chahate

29 जुलाई 2015
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विष्णु कसौधन गोंडा थाना छपिया तहसील मनकापुर हमारा मोबाइल नंबर 7698645158,8866717605

29 जुलाई 2015
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निगाहो की ज़ीद हे आँखो से आंसु गिरने की, दिल की ज़ीद हे आपसे रिश्ता निभाने की, आपको ज़ीद हे अगर हमे भूलने की तो, हमे भी ज़ीद हे आपको अपनी याद दिलाने की.

29 जुलाई 2015
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गुड इवनिंग

29 जुलाई 2015
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हम किस किस की नजर को पहचाने सबकी नजरो मे रहते है किस्मत ही कुछ ऐसी पायी हर वक़्त सफर मे रहते है विष्णु कसौधन गोंडा

30 जुलाई 2015
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