आज २२ सितंबर २०२२ है
और आज के दिन पिछले ३-४ सालों में पहली बार ऐसा लगा की मैंने एक सही इंसान से प्यार किया है , ऐसा नहीं है की मैं तब तुमसे प्यार नहीं करती थी और आज से करने लगी हूं । मैं प्यार पहले भी करती थी पर आज मैं कुछ ज्यादा ही प्यार के साथ इज्जत भी करने लगी हूं , आज कुछ अलग से लग रहे थे तुम जैसे की मैंने जैसी छवि बनाई थी तुम उसका दर्पण हो रहे थे
आज जब मैने अपने स्टेटस पर कुछ डाला था "साइकोलॉजी के अनुसार
अगर कोई लड़की एक दम कुछ दिनों से शांत रहने लगती है तो इसका मतलब ये है की उसके साथ उसकी उम्मीद के विपरीत किसी ने जरूर बहुत ही कुछ ज्यादा गलत किया है,जिसके कारण वो अंदर ही अंदर खुद को खो चुकी है"
इस पर तुम्हारा जवाब था की खुश रहना अपने आप पर निर्भर करता है तुम खुश रह सकती हो अगर तुम चाहो तो , क्योंकि उन टूटी उम्मीदों के अलावा बहुत कुछ है जीने के लिए खुश रहने के लिए
हालांकि इन बातों का मेरी जिंदगी में कुछ असर नहीं होने वाला पर हां इन सब के बाद मैं ये समझ गई थी की अब तुम मजबूत हो चुके हो दुःखोँ को सहने के लिए , क्योंकि एक मजबूत इंसान ही मजबूत होने की सलाह दे सकता है ।
मैं समझ गई थी की अब हम बिछड़ भी जाएं तो तुम सह लोगे ये विरह , सह लोगे तुम मुझसे दूरियां , जी लोगे अपनी जिंदगी मेरी कमी के बगैर ......