रविवार की शाम भारतीय क्रिकेट फैंस का दिल टूटा. ऑस्ट्रेलिया ने भारत को 6 विकेट से हराकर फिनाले की ट्रॉफी अपने हाथ की. यह ऑस्ट्रेलिया की ६ठी जीत होगी. सभी फैंस को उम्मीदे थी की इस बार तो भारत टॉफी अपने नाम ले ही आएगा, पर शायद हमलोग बहुत हे ज़यादा अधिक उत्साहित हो गए थे. भारतीय फैंस को उम्मीद थी कि वर्ल्ड कप 2003 के फाइनल की हार का बदला रोहित शर्मा की नेतृत्व वाली टीम ले लेगी, लेकिन ऐसा नहीं हुआ।
मैच सिंहावलोकन:
टीम ने 241 रन का लक्ष्य रखा था, लेकिन ऑस्ट्रेलिया ने 43 ओवर में 4 विकेट गंवाकर इसे आसानी से पूरा कर लिया। ट्रेविस हेड ने शतक जड़ा और मार्नस लाबुशन ने अर्धशतक बनाया। लक्ष्य का पीछा करते हुए ऑस्ट्रेलिया की शुरुआत अच्छी नहीं रही.
पारी की शुरुआत में ही उन्हें बड़ा झटका लगा. डेविड वॉर्नर (7) को मोहम्मद शमी ने दूसरे ओवर में आउट कर दिया. पांचवें ओवर में जसप्रीत बुमराह ने मिचेल मार्श (15) को वापस पवेलियन भेज दिया. सातवें ओवर में बुमराह ने दमदार बल्लेबाज स्टीव स्मिथ का विकेट भी ले लिया, जो सिर्फ 4 रन ही बना सके. 47 रन पर तीन विकेट गंवाने के बाद सलामी बल्लेबाज हेड और लाबुशेन ने जोरदार तरीके से मोर्चा संभाला. वे दोनों विरोध करते हैं.
स्कोर भारतीय टीम पहले 50 ओवरों में 240 रन पर आउट हो गई थी। भारतीय पक्ष ने टॉस गंवा दिया और जब उन्होंने बल्लेबाजी शुरू की तो एक सम्मानजनक शुरुआत की।
शुभमन गिल और कप्तान रोहित शर्मा ने पहले विकेट के लिए 30 रन जोड़े। गिल सात गेंदों पर केवल चार रन ही बना सके। रोहित की शानदार पारी के दम पर भारत ने सातवें ओवर में 50 रन पूरे कर लिए। लेकिन कप्तान अपने शतक तक नहीं पहुंच सके। उन्होंने 31 गेंदों पर चार चौकों और तीन छक्कों की मदद से 47 रन बनाए। दूसरे विकेट के लिए रोहित और कोहली ने 46 रन की साझेदारी की।
बल्ले से श्रेयस अय्यर (4) ज्यादा प्रभावी नहीं थे। भारतीय टीम की बल्लेबाजी बाद में भी बेहद असरदार रही। रिशभ पंत ने अपनी बेहतरीन फॉर्म जारी रखते हुए 39 गेंदों पर 39 रनों की पारी खेली। वहीं, हार्दिक पांड्या ने भी 27 गेंदों में 28 रन बनाए। टीम की बाकी बल्लेबाजों ने भी अपनी जिम्मेदारी निभाई और भारतीय टीम ने 50 ओवर में 240 रन का लक्ष्य रखा।
ऑस्ट्रेलियाई गेंदबाजों ने भी बेहतरीन प्रदर्शन किया और भारतीय बल्लेबाजों को लगातार तंग किया। इससे ऑस्ट्रेलियाई टीम को लक्ष्य को पूरा करने में कोई मुश्किल नहीं आई और वे खेल को जीत लिया।
कोल्हि और केएल राहुल की साझेदारी:
इसके बाद कोहली ने केएल राहुल के साथ चौथे विकेट के लिए साझेदारी की और 67 रन बनाए। कोहली ने 63 गेंदों पर 4 चौकों की मदद से 54 रन बनाए। राहुल ने धीमी पारी खेलते हुए 107 गेंदों में 66 रन बनाए। उन्होंने केवल एक चौका मारा। रवींद्र जडेजा (9), मोहम्मद शमी (6) और जसप्रीत बुमराह (1) ज्यादा योगदान नहीं दे सके।
भारत ने 178 रन के अंदर 5 विकेट गंवा दिए। शार्दुल ठाकुर ने 28 गेंदों पर 18 रन बनाए। कुलदीप यादव 10 रन बनाकर आउट हुए। मोहम्मद सिराज 9 रन बनाकर नाबाद रहे। ऑस्ट्रेलिया की ओर से मिशेल स्टार्क ने तीन जबकि पैट कमिंस और जोश हेजलवुड ने दो-दो विकेट लिए। ग्लेन मैक्सवेल और एडम जाम्पा को एक-एक विकेट मिला।
लेकिन तेज गेंदबाज मोहम्मद शमी ने बहुत कुछ बदल दिया। शुरुआती चार मुकाबलों में शमी बाहर रहे, लेकिन उसके बाद कातिलाना गेंदबाजी से सब कुछ बदल गया। फिलहाल, वह सबसे अधिक विकेट लेने वाले गेंदबाजों की सूची में पहले स्थान पर हैं। शमी ने 6 मैचों में 23 गोल किए हैं।
भारत से एक बार फिर शानदार प्रदर्शन की उम्मीद होगी। सेमीफाइनल में शमी ने 57 रन देकर 7 विकेट चटकाए और मैच विजेता चुने गए। मोहम्मद सिराज ने 13 और जसप्रीत बुमराह ने 17 शिकार किए हैं। स्पिनर कुलदीव यादव (15 विकेट) और स्पिन ऑलराउंडर रविंद्र जडेजा (16 विकेट) बखूबी मदद कर रहे हैं। दूसरी ओर, ऑस्ट्रेलियाई स्पिनर एडम जम्पा ने 10 मैचों में 22 गोल किए हैं।