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Laxmi Tyagi के बारे में

मैं लक्ष्मी, बचपन से ही मुझे संगीत, साहित्य और कला में रुचि रही है,हिंदी साहित्य में ही परा स्नातक किया अध्यापन कार्य किया, हॉबी क्लासेस भी की अब अपने जीवन के अनुभव के मोती, शब्दों में ढालकर कभी, कविता, कभी कहानी और कभी उपन्यास के रूप में ढालती हूँ मेरा अपना ब्लॉग भी है प्रतिलिपि मंच से भी जुड़ी हूँ, अब शब्द इन के दोस्तों से भी वही प्यार और सहयोग की उम्मीद करती हूँ, अपना प्यार मुझ पर बनाये रखेंगे 🙏

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पुरस्कार और सम्मान

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दैनिक लेखन प्रतियोगिता2023-08-18
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दैनिक लेखन प्रतियोगिता2023-07-17
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दैनिक लेखन प्रतियोगिता2023-07-13
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दैनिक लेखन प्रतियोगिता2023-06-07

Laxmi Tyagi की पुस्तकें

बदली का चाँद

बदली का चाँद

ये एक ऐसी लड़की की कहानी है, जो सीधी और भोली होने के साथ -साथ बहादुर भी है । ज़िंदगी में उसे प्यार में धोखे भी मिले, ज़िंदगी के उतार चढ़ाव को पार करते हुए उसकी ज़िंदगी कहाँ से कहाँ पहुँच गयी? तब भी अपने लोगों और दोस्तों के साथ खड़ी रहती है । अपने जीव

39 पाठक
98 रचनाएँ

निःशुल्क

बदली का चाँद

बदली का चाँद

ये एक ऐसी लड़की की कहानी है, जो सीधी और भोली होने के साथ -साथ बहादुर भी है । ज़िंदगी में उसे प्यार में धोखे भी मिले, ज़िंदगी के उतार चढ़ाव को पार करते हुए उसकी ज़िंदगी कहाँ से कहाँ पहुँच गयी? तब भी अपने लोगों और दोस्तों के साथ खड़ी रहती है । अपने जीव

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प्रेरक कहानियाँ

प्रेरक कहानियाँ

ज़िंदगी में अनेक घटनाएँ -दुर्घटनाइयें,होती हैं,ज़िंदगी जाने -अंजाने अनेक परेशानियों से गुजरती है,इस ज़िंदगी में अनेक रिश्ते भी होते हैं जिनसे हमें कुछ न कुछ सीख मिलती है,सीखने की कोई उम्र नहीं होती चाहे कोई छोटा हो या बड़ा। जीवन में हर पल कुछ न कुछ स

27 पाठक
50 रचनाएँ
1 लोगों ने खरीदा

ईबुक:

₹ 132/-

प्रेरक कहानियाँ

प्रेरक कहानियाँ

ज़िंदगी में अनेक घटनाएँ -दुर्घटनाइयें,होती हैं,ज़िंदगी जाने -अंजाने अनेक परेशानियों से गुजरती है,इस ज़िंदगी में अनेक रिश्ते भी होते हैं जिनसे हमें कुछ न कुछ सीख मिलती है,सीखने की कोई उम्र नहीं होती चाहे कोई छोटा हो या बड़ा। जीवन में हर पल कुछ न कुछ स

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हवेली का रहस्य

हवेली का रहस्य

ये कहानी कामिनी नामक लड़की की है, वो किस तरह, अंगूरी देवी की छोटी बहू बन जाती है? और किस प्रकार वो उस रहस्यमयी हवेली तक पहुँच जाती है, ये सब आपको इस कहानी को पढ़कर पता चलेगा, कामिनी कैसे एक - एक कर कहानी के रहस्यों को खोलती है जानने के लिए पढ़िये- "ह

16 पाठक
20 रचनाएँ
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₹ 27/-

हवेली का रहस्य

हवेली का रहस्य

ये कहानी कामिनी नामक लड़की की है, वो किस तरह, अंगूरी देवी की छोटी बहू बन जाती है? और किस प्रकार वो उस रहस्यमयी हवेली तक पहुँच जाती है, ये सब आपको इस कहानी को पढ़कर पता चलेगा, कामिनी कैसे एक - एक कर कहानी के रहस्यों को खोलती है जानने के लिए पढ़िये- "ह

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जीवन के रंग

जीवन के रंग

इतना लम्बा जीवन हम जीते हैं,उसमे सुख है,दुःख है, मस्ती है,मिलना है,बिछुड़ना है,जीवन की पटरी उतार- चढ़ाव से भरी है,जीवन के इस सफ़र में लोग मिलते हैं,बिछुड़ते हैं, उस जीवन के छोटे छोटे हिस्सों को लेकर बनती है एक कहानी वो कहानी जो आपके और हमारे जीवन से

निःशुल्क

जीवन के रंग

जीवन के रंग

इतना लम्बा जीवन हम जीते हैं,उसमे सुख है,दुःख है, मस्ती है,मिलना है,बिछुड़ना है,जीवन की पटरी उतार- चढ़ाव से भरी है,जीवन के इस सफ़र में लोग मिलते हैं,बिछुड़ते हैं, उस जीवन के छोटे छोटे हिस्सों को लेकर बनती है एक कहानी वो कहानी जो आपके और हमारे जीवन से

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ऐसी भी ज़िंदगी

ऐसी भी ज़िंदगी

यह कहानी निलिमा सक्सेना के जीवन की कहानी है,जो इस समाज की एक इकाई है,नारी जाति पर अनेक कहानियाँ लिखी गयी हैं और लिखी जाती रहेंगी किंतु हर नारी के जीवन का एक अलग ही पहलू उभरकर आता है,जो एक कहानी बन जाता है।ऐसी एक नारी है "निलिमा सक्सेना " जो एक मध्यमव

14 पाठक
95 रचनाएँ

निःशुल्क

ऐसी भी ज़िंदगी

ऐसी भी ज़िंदगी

यह कहानी निलिमा सक्सेना के जीवन की कहानी है,जो इस समाज की एक इकाई है,नारी जाति पर अनेक कहानियाँ लिखी गयी हैं और लिखी जाती रहेंगी किंतु हर नारी के जीवन का एक अलग ही पहलू उभरकर आता है,जो एक कहानी बन जाता है।ऐसी एक नारी है "निलिमा सक्सेना " जो एक मध्यमव

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खूबसूरत पल

खूबसूरत पल

मन के किसी कोने में छिपे भावों के मोती कभी कविता,कभी गजल का रूप ले लेते हैं। उन्हें दिल की किताब से बाहर ला पन्नों पर उकेरने का प्रयास करती हूँ। कभी ये भाव सामाजिक कभी अपने आप से प्रशन करते नजर आते हैं।कम शब्दों में बहुत कुछ कहता काव्य ! मन के किसी क

13 पाठक
52 रचनाएँ

निःशुल्क

खूबसूरत पल

खूबसूरत पल

मन के किसी कोने में छिपे भावों के मोती कभी कविता,कभी गजल का रूप ले लेते हैं। उन्हें दिल की किताब से बाहर ला पन्नों पर उकेरने का प्रयास करती हूँ। कभी ये भाव सामाजिक कभी अपने आप से प्रशन करते नजर आते हैं।कम शब्दों में बहुत कुछ कहता काव्य ! मन के किसी क

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आलेख

आलेख

हमारे जीवन में अथवा समाज में हम कुछ ऐसा देखते या सुनते हैं जिन पर कई बार हम सहमत होते हैं और कई बार सहमत नही होते तब उस विषय पर हमारे विचार हमारी सोच उसके पक्ष या विपक्ष में हमें लिखने पर बाध्य कर देती है। कई बार किसी चीज की जानकारी हम लेख द्वारा ही

8 पाठक
17 रचनाएँ

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हमारे जीवन में अथवा समाज में हम कुछ ऐसा देखते या सुनते हैं जिन पर कई बार हम सहमत होते हैं और कई बार सहमत नही होते तब उस विषय पर हमारे विचार हमारी सोच उसके पक्ष या विपक्ष में हमें लिखने पर बाध्य कर देती है। कई बार किसी चीज की जानकारी हम लेख द्वारा ही

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बेचारी

बेचारी

ऋचा एक मध्यमवर्गीय परिवार की लड़की है और वो शहर में नौकरी करने आती है।और न जाने किन रहस्यों में उलझती चली जाती है।उसकी ज़िंदगी का,हर एक रहस्य एक नया सवाल खड़ा कर देता है।क्या वो बेचारी है? या फिर ये भी एक रहस्य है किसके कारण,वो भयभीत होती है?उसके भय

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बेचारी

बेचारी

ऋचा एक मध्यमवर्गीय परिवार की लड़की है और वो शहर में नौकरी करने आती है।और न जाने किन रहस्यों में उलझती चली जाती है।उसकी ज़िंदगी का,हर एक रहस्य एक नया सवाल खड़ा कर देता है।क्या वो बेचारी है? या फिर ये भी एक रहस्य है किसके कारण,वो भयभीत होती है?उसके भय

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Laxmi Tyagi के लेख

बुआ की सीख

26 जुलाई 2024
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आज प्रातः काल जब मनु उठी तो सिर में, थोड़ा भारीपन था अजीब सा महसूस हो रहा था समझ नहीं आ रहा ,ऐसा क्या हुआ है ? सिर में हल्का-हल्का दर्द था, सोच रही थी -आज सिर की थोड़ी मालिश की जाए। रसोई घर में गई और

आओ, बच्चे बन जाते हैं।

21 जुलाई 2024
0
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उम्र के बंधनो को तोड़ ,जीवन की मुश्किलों को छोड़ !आज कुछ नया करते हैं। आओ ! बचपन जीते हैं। घरों की चाहरदीवारी से........ बाहर निकल ,भूली -बिसरी यादों........ और अर

स्वच्छ अभियान

21 जुलाई 2024
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Homereality of lifeSvchchh abhiyaanbylaxmi-July 21, 20240कुछ दिनों पहले मैंने सुना -लोग कहते है -यार !विदेशों में कितनी स्वच्छता है ? वहां के लोगों का रहन-सहन कितना अच्छा है ?यहां भारत में क्या है ?गं

तुम कुछ कहते, क्यों नहीं?

21 जुलाई 2024
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तुम कुछ कहते क्यों नहीं ?क्यों छुपा लेते हो ,वो दर्द !जो बरसों से......... तुम्हारे सीने में दफन है। क्यों, यह भार बढा रखा है ?क्यों ,छिपाना चाहते हो ?क्या कोई,खजाना बड़ा है। साथ क

गुरु महिमा

21 जुलाई 2024
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गुरु परंपरा की रीत निराली,गुरु ही है ,सब कर्मों पर भारी,गुरु ही मेरा मान है ,मेरी पहचान है। गुरु बिन ,सब काज अधूरे ,ऐसे गुरु को बारंबार प्रणाम है। स्नेहसिक्त , ऐसे प्रभु के चरणों में कोटि-क

पहनावा

18 जुलाई 2024
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शिल्पा बहुत दिनों के पश्चात ,अपने मायके में आई हुई है , घर में अच्छी -खासी रौनक हो गई है , क्योंकि दूसरे शहर से उसका भाई भी मिलने आया है। शिल्पा अपने मम्मी -पापा से बातें कर रही है, तभी उसकी भाभी नहाक

आख़िरी संदेश

18 जुलाई 2024
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नितिन,अपनी नौकरी के साक्षात्कार की तैयारी में जुटा था। लिखित परीक्षा में वह पास हो गया था। साक्षात्कार के पश्चात एक परीक्षा और होनी है और उसके पश्चात ,उस नौकरी के लिए ,'कॉल' आ जायेगा। परिवार वाले भी,

आख़िरी संदेश

18 जुलाई 2024
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नितिन,अपनी नौकरी के साक्षात्कार की तैयारी में जुटा था। लिखित परीक्षा में वह पास हो गया था। साक्षात्कार के पश्चात एक परीक्षा और होनी है और उसके पश्चात ,उस नौकरी के लिए ,'कॉल' आ जायेगा। परिवार वाले भी,

आओ, कुछ नया सीख लें

17 जुलाई 2024
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आओ ,कुछ नया सीख लें !जीवन को, ज्ञान का प्रकाश दें। भाषा माध्यम है,एक -दूजे से जुड़ने का। और पल-पल आगे बढ़ने का। शब्दों की लहरों से जुड़ने का।उड़ती तितलियों सा छूने का। आओ ,कुछ

तेरी चाहत में

11 जुलाई 2024
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ऐसे सुहावने मौसम में ,लेती हूँ ,अंगड़ाई ,तेरी चाहत में , बूंदें ,ले करतल में ,भावविभोर हो उठी, तेरी चाहत में। शांत मन में ,इक ठंडी सी स्फुरण उठी ,तेरी चाहत में। सागर सी ज़िंदगी ,कुछ पल ठ

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