अजय बाबू मौर्य
पत्रकार, कवि, लेखक
बीते हुए लम्हे
प्रस्तुत पुस्तक ‘बीते हुए लम्हे’ गुजरे हुए वक्त की वो अमानत है, जो वर्षों तक डायरीनुमा तिजोरी में बंद रही. अब पुस्तक की शक्ल में आप तक पहुंचने को बेताब है. स्कूल के दिनों में बालपन को पीछे छोड़ किशोरावस्था की ओर जाते हुए गुनगुनाई पंक्तियों को कभी कलम
बीते हुए लम्हे
प्रस्तुत पुस्तक ‘बीते हुए लम्हे’ गुजरे हुए वक्त की वो अमानत है, जो वर्षों तक डायरीनुमा तिजोरी में बंद रही. अब पुस्तक की शक्ल में आप तक पहुंचने को बेताब है. स्कूल के दिनों में बालपन को पीछे छोड़ किशोरावस्था की ओर जाते हुए गुनगुनाई पंक्तियों को कभी कलम
यादें
यह पुस्तक अपने प्यार के चले जाने के बाद उसकी यादों में खोए रहने और उसके साथ बिताए हुए पलों को दोबारा जीने की कोशिश है.....
यादें
यह पुस्तक अपने प्यार के चले जाने के बाद उसकी यादों में खोए रहने और उसके साथ बिताए हुए पलों को दोबारा जीने की कोशिश है.....