एक गाँव मे राम और सीता नाम के पति पत्नी रहते थे। दो साल पहले इनकी शादी हुई थी।लेकिन इनकी एक सफल सफल शादी नही थी क्योंकि इन्हें अभी तक कोई बच्चा नही हुआ था। सीता बहुत ही परेशान रहा करती थी। राम अपने आफिस के कामो में बहुत बिजी रहा करता था। राम के आफिस जाने के बाद सीता घर मे अकेले रह जाती थी। लाखो दवाईया खाने के बाद भी सीता माँ नही बन पा रही थी। सीता की राम से रोज़ लड़ाईया हुआ करती थी।
लड़ाईया सिर्फ इसलिए हुआ करती थी, क्योंकि राम दूसरी शादी करना नही चाहता था,ओर सीता रोज़ उसे दूसरी शादी करने के लिए मजबूर किया करती थी। एक दिन सीता बहुत ज्यादा बीमार पड़ गयी थी।सीता ने खाना पीना छोड़ दिया था। राम बहुत परेशान होगया था। सीता ने खाना पीना इसलिए छोड़ा था,क्योंकि वो राम की दूसरी शादी कराना चाहती थी। राम ने सीता को खाना खाने के लिए मनाया लेकिन सीता ने मना करदिया ओर बोली कि तुम दूसरी शादी करलो।सीता की हालत देख कर राम ने शादी के लिए हां करदिया।
एक दिन राम और सीता एक रोड से गुजर रहे थे।उनकी गाड़ी अचानक से रुकी ओर उन्होंने देखा कि रोड पर एक लड़की बेहोश पड़ी हुई थी। उन्हीने उस लड़की को उठाया और गाड़ी में बिठाया। घर आने के बाद उन्होंने उसे कमरे में लिटाया। 2 घण्टे बाद उस लड़की को होश आया और पूछी मै यहाँ कहा से आई? फिर राम और सीता ने उसे बताया कि वो रोड पर बेहोश उन्हें मिली थी। अब राम ओर सीता के साथ वो लड़की भी रहने लगी। सीता को उस लड़की का नेचर बहुत अच्छा लगता था। उसने राम को उस लड़की से शादी करने के लिए बोला। राम शादी करने के लिए मान गया। सीता उन दोनों की शादी करा देती हैं। 2 महीने शादी के बाद वो लड़की माँ बनने वाली होती हैं। एक दिन वो लड़की अपने घर मे नॉन वेज खा रही थी। सीता उसके रूम के पास गुजर रही थी ओर वो उस लड़की को बुरी तरीके से नॉनवेज खाते हुए देख लेती हैं। सीता अपने मन मे सोचती हैं कि ये तो खाती नही हैं नॉनवेज- लेकिन आज कैसे बुरी तरीके से खा रही है। लेकिन वो लड़की पेट से है तो उसका मन कर रहा हो खाने का ये सोच कर वो राम को कुछ नही बताती।
उस लड़की का नोवा महीना चल रहा था। एक दिन राम और सीता बहुत गहरी नींद में सो रहे थे।वो लड़की अपने रूम में चुड़ैल का रूप धारण कर बहुत बुरी तरीके से हस रही थी। सीता की नींद खुल जाती हैं
इतनी जोरो से हँसने की आवाज़े सुनकर वो उस लड़की के रूम म।जाती हैं। जैसे ही सीता खिड़की से देखती है वो उस लड़की का चुड़ैल रूप देख कर डर जाती हैं। सीता भगी भगी राम के पास जाती हैं, ओर सब कुछ बताती हैं। राम और सीता दोनो ही उसके कमरे में जाते हैं। ओर उस चुड़ैल को बोलते हैं कि ये सब क्या हैं? चुड़ैल ने कहा मुझे अपनी शक्तियां वापिस चाहिये थी और ये तभी मिलती जब मैं किसी इंसान के बच्चे की माँ बनती। चुड़ैल ने कहा- ये बच्चा मैं तुम्हे नही दूंगी।
अचानक चुड़ैल को दर्द उठता हैं। सीता और राम को चुड़ैल को हॉस्पिटल ले गए। कुछ घण्टो के बाद चुड़ैल को सुंदर सा बच्चा हुआ। सीता ने उस बच्चे को गोद मे उठाया और उसे चूमने लगी। चुड़ैल के होश में आने के बाद वो सीता के हाथ से बच्चा छीन लेती हैं और कहती हैं ये बच्चा मेरा हैं।
चुड़ैल के हाथों में जाकर बच्चा बहुत जोरो से रोने लगता हैं। सीता बच्चे को अपने हाथों में ले लेती- बच्चा चुप हो जाता हैं। माँ की ममता देखकर चुड़ैल पिघल जाती हैं। और वो कहती हैं, की बच्चा तुम रख लो, मेरे पास मेरी शक्तियां वापिस आगयी।
शिक्षा- हमे हर काम मे जल्दबाज़ी नही करनी चाहिए। हर इंसान पर विशवास नही करना चाईए ।