आखिर क्यों बनी सुहानी चुड़ैल। एक गाँव मे रहने वाली लड़की सुहानी कैसे बन जाती है चुड़ैल, जानने के लिए कहानी में बने रहिये। एक गाँव जो बहुत छोटा सा था, जहाँ के लोगो की सोच गाँव की तरह छोटी थी। सुहानी अपने घर मे एकलौती लड़की थी,और वो बहुत ही ज्यादा चंचल किस्म की थी। गाँव मे सब लोग उसे बहुत प्यार किया करते थे। सुहानी बहुत ही चंचल तो थी लेकिन वो वो तेज़ करार नही थी। सुहानी के गाँव मे एक बार एक एमएसएस कैम्प लगा था जिसमे शहर के लड़के व लड़किया आए थे। सुहानी रोज़ गाँव के पास नदी से पानी भरने जाया करती तो वहाँ उन लोगो को वहाँ देखा करती।घण्टो वहाँ बैठ कर देखा करती की वो कैसे एन्जॉय करते हैं, कैसे एक दूसरे के साथ बैठ कर खाना खाते, कैसे एक दूसरे की सहायता करते हैं। सुहानी को ये सब देखना अच्छा लग रहा था।सुहानी रोज़ घर के काम जल्दी निपटा लिया करती थी।ओर नदी की ओर पानी भरने के बहाने से निकल लिया करती।
एक दिन कुछ यूं हुआ जिसने सुहानी की जिंदगी को बदल कर रख दिया। कैम्प का एक लड़का जो सुहानी को रोज़ देखा करता। लेकिन सुहानी ने कभी उस।लड़के को नही देखा।वो लड़का कैम्प का लीडर था जिसका नाम रणवीर था। रणवीर देखने मे जवान और सुंदर था।रणवीर पर न जाने कैम्प की कितनी लडकिया मरती थी। सुहानी बस आज काम खत्म कर नदी पर पहुँच ही रही थी कि उसने देखा कैम्प का कोई आदमी नदी पर पहले से ही खड़ा है।सुहानी डर सी गयी लेकिन सुहानी हमारी डरपोक नही थीउसने हिम्मत बांधी ओर तेज़ी से कदम बढ़ाते हुए उस आदमी के पास गई। लेकिन अब सुहानी में हिम्मत तो हो नही रही थी कुछ पूछने की इतने में वो आदमी बोला तुम रोज़ यहाँ घण्टो बैठ हमारी टीम को देखा करती हो क्यों? सुहानी ने बोला हाँ मै रोज़ यहाँ आकर बैठती हूँ और सब देखती हूं तुम्हे कोई मतलब? इतने में वो आदमी हस।कर बोला अरे नही मुझे तो।कोई दिक्कत नही खैर छोड़ो, तुम्हारा नाम क्या हैं? सुहानी ने शन्ति से जवाब दिया। मेरा नाम सुहानी हैं और तुम्हारा। उस आदमी ने कहा मेरा नाम रणवीर हैं और जिस टीम को तुम इतने ध्यान से देखा करती हो उस टीम का मैं लीडर हूँ।
सुहानी इतना सुनकर वहाँ से तेज़ी से चलने लगी रणवीर ने उसका पीछा किया और सुहानी को आगे से घेर कर बोला- अरे तुम कहाँ चली? सुहानी।ने कहा गलती होगयी साहब अब नही देखूंगी। मुझे जेल में बंद मत करवाना। इतने पर रणवीर जोर-जोर के हँसने लगा सुहानी रणवीर को देखती रह गयी और फिर रणवीर सुहानी की आंखों में देखता रहा।रणवीर ने देरी न करते हुए सुहानी को बोल ही दिया।सुहानी ममैं तुम्हे पहले दिन जब से।देखा हैं तब से पंसंद करने लगा हूँ। सुहानी ये सुनकर शर्मा कर भाग गयी। रणवीर ने उसे रोका।नही बस उसके जवाब का इंतज़ार करना चाहता था।
अगले दिन जैसे ही सुबह हुई रणवीर उठाकर तैयार होकर नदी पर सुहानी से मिलने पहुँच गया। सुहानी का घण्टो इंतेज़ार करने के बाद वो परेशान हो गया क्योंकि सुहानी आज नदी पर नही आई थी। रणवीर सुहानी का घर का पता नहीं जनता था। जैसे ही रणवीर बस कैम्प की और कदम बढ़ा ही रहा था उसने देखा सुहानी सी एक लड़की उसकी ओर आ रही थी,अरे ये तो सुहानी है रणवीर ने मन मे बोला। रणवीर तेज़ी से भागता हुआ सुहानी के।पास गया और बोला अरे तुम कहा थी? मैं कब से इंतेज़ार कर रहा हूँ। सुहानी बोली अच्छा क्यों?
रणवीर ने बोला अरे यार तुम भी मैं तुम्हे बहुत पसंद करता हूँ तुम करती हो? इतने पर सुहानी ने बोला -हां! मैं भी करती हूँ। रणवीर तो उसकी हां सुनकर एक बार को तो चुप सा ही रह गया। रणवीर ने थोड़ी देर शांति के बाद कहा तुम हमारा कैम्प घूमना चाहोगी? सुहानी बोली हाँ क्यों नही। रणवीर सुहानी।को कैम्प के अंदर लेकर जाता हैं।और अपने सभी टीम मेट्स से मिलवाता हैं।रणवीर की एक दोस्त लता को अच्छा नही लगा कि रणवीर ने गाँव की किसी लड़की को हमसे इंट्रोड्यूस कराया। लता मन ही मन रणवीर को प्यार करती थी लेकिन कभी बोला नही। रणवीर ने।अपनी टीम को बताया कि वो सुहानी को।पसंद करता हैं। लता ये बात सुनकर सह न पाई और उठ कर चली गयी।अगले दिन लता नदी के पास सुहानी का इंतजार कर रही थी। सुहानी के आते ही लता ने उसे बुरा भला बोलना शुरू कर दिया।सुहानी रोने लग जाती हैं वहाँ तुरन्त रणवीर आ जाता हैं।सुहानी को रोता देख रणवीर ने लता को बहुत सुनाया। लता की आंखों में सुहानी खटक चुकी थीं।
लता सुहानी के पीछे पीछे उसके घर तक पहुँच जाती हैं। लेकिन सुहानी को ये पता नही की लता उसका पीछा कर रही थी। लता रात होने का इंतज़ार करती हैं। जैसे ही रात होती हैं,लता सुहानी के घर के अंदर घुस जाती हैं और।सुहानी को बोलती हैं मुझे तुमसे बात करनी हैं कर सकती हूं क्या? सुहानी बोलती हैं,हाँ! क्यों नही।लता बोलती हैं लेकिन यहाँ नही। सुहानी बोलती है।फिर कहाँ
सुहानी बोली जो बात करनी हैं, यहाँ करलो। लता बोली नही, जी नही मैं यहाँ पर बात नही कर सकती। सुहानी का हाथ पकड़ कर लता कैम्प के पीछे वाले कुँए के पास ले जाती हैं। और सुहानी को बहुत बुरा भला सुनाने लगती हैं। सुहानी बोलती हैं इसमें मेरी क्या गलती मैंने तो रणवीर जी को नही बोला कि वो मुझे पसंद करे।इतना सुनकर ही लता ने सुहानी को कुँए में फेंक दिया और वहाँ से लता भाग जाती हैं। सुहानी उस टाइम ही अपने प्राण त्याग देती हैं।
अगले दिन टीम को वापिस शहर जाना था। सुबह से ही रणवीर नदी के पास सुहानी का इंतज़ार कर रहा था। लेकिन सुहानी नही आई न ही कभी आती। क्योंकि अब सुहानी इस दुनिया में ही नही थी। रणवीर को उसके घर का भी नही पता था। रणवीर जैसे तैसे वहाँ से बस में।सवार हो शहर आ जाता हैं। सारी टीम के साथ।साथ कोई और भी था जो उनके साथ शहर जा रहा था। वो थी एक चुडैल। वो सुहानी ही चुड़ैल थी।जो मरने के बाद एक चुड़ैल बन गयी थी।
जैसे ही सब अपने घर पहुँच जाते हैं।सुहानी भी पीछे पीछे लता के घर पहुँच जाती हैं।लता बिल्कुल ठीक नही लग रही थी इसलिए रणवीर।उसे उसके घर लेकर आता हैं। और रात में वही रुक जाता हैं। लता अपने कमरे मे आराम कर रही थी। अचानक से लता अपने कमरे में सुहानी को देखकर डर जाती है। सुहानी मर चुकी हैं तो वो यहाँ क्या कर रही हैं ऐसा लता अपने मन मे बोलती हैं। रणवीर लता के चिल्लाने की आवाज़ सुनकर लता के रूम में।आता हैं और पूछता हैं तुम क्यों चिल्ला रही हो। तुम ठीक हो लता?
लता बोलती हैं नही मैं ठीक नही हूं! रणवीर तुम मेरे पास बेठो! रणवीर उसके पास बैठ जाता हैं और उसके सिर पर हाथ सहलाने लगता हैं।ये सुहानी चुड़ैल देखकर कर गुस्से में आ जाती हैं ओर लता को बेड से उठाकर फेक देती हैं। इतने में रणवीर भी डर जाता हैं आखिर ये क्या हुआ। कमरे में हँसने की आवाज़े आने लगती हैं। रणवीर सुनकर डरने लगता हैं और लता से पूछता हैं ये सब क्या हो रहा हैं।
लता उसको सारी बात बताती कैसे उसने सुहानी की जान ली। ओर सुहानी उसे कैसे परेशान कर रही हैं। रणवीर इतना सुनकर जोरो से रोने लगता हैं।लता तुमने ये क्या कर दिया तुमने।मेरी सुहानी मुझसे छीन ली। और सुहानी चुड़ैल से बोलता हैं सुहानी एक बार तुम मुझे दिख जाओ मै तुम्हे गले लगाना चाहता हूँ। सुहानी चुड़ैल का रूप से निकल कर सिंपल साधी सुहानी बनकर आ जाती हैं। रणवीर सुहानी को।देखकर गले लगा लेता हैं। औऱ उससे लता के किये कर्मो के लिए माफी मांगता हैं। सुहानी लता को रणवीर के लिए माफ कर देती हैं।और रणवीर से विदा लेकर चली जाती हैं।
शिक्षा- हमे हर काम सोच समझ कर करना चाहिए। जो आपके नसीब में हैं वो आपको मिल जाएगा अगर नसीब में वो चीज़ नही हैं तो नही मिलेगा। सुहानी जैसी चुड़ैल बस एक कहानी का पात्र है और ये सब एक अन्धविश्ववास हैं।यह बस एक मनोरंजन के लिए लिखी गयी कहानी हैं।
स्वरचित कहानी
ज्योति द्विवेदी🖋️