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नीच बहू

2 अगस्त 2022

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महेंद्र सिंह के परिवार में उनकी पत्नी शोभा ,  तीन बेटे , राकेश ,राजेश ,योगेश थे , और एक बेटी जया जिसकी शादी उन्होंने एक बड़े घराने में कर दी थी और इस समय वह जर्मनी में रह रही थी ,!!
दोनो ही बड़े बेटे पुश्तैनी  व्यापार  को सम्हाल रहें  थे, !!
राजेश की पत्नी सुनंदा बहुत बड़े घर से आई थी और वह  दहेज भी खूब लेकर आई थी , इसलिए उसका दबदबा घर ने रहता था , राजेश की पत्नी नीलम भी कलेक्टर की बेटी थी ,तो उन्होंने भी भरपूर दानo दहेज दिया था ,और नीलम कॉमर्स से  पढ़ी लिखी थी तो उनके व्यापार का हिसाब किताब वही घर से ही  देखती थी ,दोनो ही बहुएं वक्त पड़ने पर अपना अपना बखान जरूर कर देती थी ,और कई बार इसी बात पर घर में झगड़े भी हो जाते थे , !!

दोनो का ही अपने दहेज पर बड़ा घमंड रहता था , बड़ी कहती की ऐसे नही होती मेरी इज्जत मेरे बाबूजी ने पचास तोला सोना ,और पांच लाख नगद दिए थे , और कपड़े और बाकी सब सामान इतना दिया था की आज तक कुछ खरीदना नही पड़ा ,*"!!
तो नीलम भी पीछे नहीं हटती थी वह भी गिना देती कि उसके पापा  ने तो दस लाख की गाड़ी ,दस लाख कैश ,और साथ में इतना समान दिया की उसे रखने के लिए ही तो यहां ऊपर दो कमरे बनाने पड़े थे ,*"!!
उनकी सास शोभा कहती थी इस बार मैं जो बहु लाऊंगी वह तुम दोनो से भी बड़े घर से होगी और तुम दोनो से भी अधिक दहेज  लाएगी, *"!!
दोनो ही बहुओं में से कोई काम नही करती थी ,दोनो को अभी तक कोई बच्चे नही हुए थे इसका मलाल भी शोभा को था ,पर वह कुछ कह नहीं पाती है क्योंकि उसके कुछ भी बोलते ही दोनो ही बहुएं कह देती थी की कमी तुम्हारे लडको में है , जाकर डॉक्टर से चेक करवा लो *"!!
सबसे छोटा लड़का योगेश ने आई ए एस का एंट्रेंस एग्जाम दिया था उसका रिजल्ट   अगले ही हफ्ते आने वाला था ,*"!!
महेंद्र सिंह कहते हैं ,*"बस अगले हफ्ते योगेश का रिजल्ट निकल जाए , एम एल ए साहब अपनी बेटी की शादी के लिए पीछे पड़े हैं , वह एक करोड़ रुपए कैश और गाड़ी भी दे रहे हैं,यह सुनते ही दोनो बहुओं की बोलती ही बंद हो जाती है , एम एल ए साहब की लड़की सुंदर भी बहुत थी ,उसके आते ही  उनकी वैल्यू  काम होनी थी ,*"!!
योगेश का रिजल्ट आया है ,पूरे देश में उसका दसवां नंबर था , उसे डिप्टी कलेक्टर की पोस्टिंग मिलती है , वह ड्यूटी ज्वाइन करता  है , !!
इधर महेंद्र सिंह उसके शादी की बात शुरू करते हैं ,तभी एक दिन योगेश  आता है और उसके साथ एक सुंदर लड़की भी थी ,उसके माथे में सिंदूर था और उसके व्यवहार से लग रहा था की जैसे वह योगेश की पत्नी हो ,सभी लोग कार से उतरते उन दोनो को देख  सभी आश्चर्य से एक दूसरे को देखते है ,!!
योगेश उसका सामान लेकर घर में आता है , हॉल में  कदम रखते ही  महेंद्र पूछते है ,*" योगेश ,ये कौन है ,*"!!?

योगेश लड़की की ओर देख कहता है , *" पापा ये आपकी बहु सौम्या है , बात ही कुछ ऐसी हो गई की हमे तुरंत शादी करनी पड़ी और आप लोगो को बता भी नही सका ,*"!!
पूरे घर में एकदम सन्नाटा सा छा जाता है,योगेश और उसकी पत्नी सौम्या सबके पैर छुने के लिए जाते हैं तो ठाकुर साहब और शोभा , कुछ भी नही बोलते सिर्फ हक्के बक्के से रह जाते हैं , योगेश अपनी भाभियों की ओर बढ़ता है ,तो सुनंदा कहती है ,*" क्या देवर जी , बाबूजी के अरमानों पर पानी फेर दिए ,उनका  एक करोड़ रुपए और गाड़ी का नुकसान करवा दिया ,*"!!
योगेश चौक कर अपने पिता की ओर देखता है, महेंद्र सिंह उस से पूछते हैं ,*" इसके पिता का क्या नाम है ,किस गांव की है घर खानदान का कुछ अता पता है की ऐसे ही कर लिया शादी ,*"!!
योगेश कहता है ,*" पापा इसके पिता सौरभ सिन्हा सरकारी अधिकारी हैं और यह खुद एस पी पुलिस है ,*"!!
शोभा हड़बड़ा कर कहती है ,*" राम राम राम ,अरे तुझे अपने से नीच जाती में ही शादी करने की सूझी अरे दहेज तो गया आग लगाने कम से कम बिरादरी की लड़की लाया होता , लाया भी तो नीच बहु ,*"!!
उनकी बाते सुन सौम्या आश्चर्य से योगेश को देखती है , येगेश तो जानता ही था की उसके घर में कुछ इसी तरह का रिएक्शन होगा उसने बहुत कुछ सौम्या को  पहले ही समझा दिया था , !!
ठाकुर साहब कहते हैं ,*" योगेश आज अभी से तुम इस घर को छोड़ कर चले जाओ , तुमने मेरे अरमानों को तो होली तो जलाई ही साथ ही साथ खानदान की नाक भी कटवा दिया, *"!!
अंदर से नीलम कहती है ,*" अब हम अपने मायके क्या मुंह लेकर जाएंगी , कहने के लिए बड़ा खानदान  है , और छोटी बहू नीच घराने से आ गई यह जानकर तो मेरे मां पिता तो मुझे ही घर में नही आने देंगे ,*"!!
शोभा कहती है ,*" मुझे पता होता की यह इतना नालायक निकलेगा तो मैं इसे पैदा होते ही मार देती निकल जा हमारे घर से और इस नीच की तो मैं शकल भी नही देखना चाहती हूं ,*"!!
दोनो कुछ नही बोलते हैं और अपना सामान लेकर मां को और देखते हैं तो वह गुस्से में अंदर चली जाती है ,और ठाकुर साहब कहते हैं ,*" मेरा दिमाग खराब हो इसके पहले घर से बाहर हो जाओ और आज से तू हमारे लिए मार गया मैं तेरा अंतिम संस्कार कल ही करवा दूंगा , !!
दोनो फिर से कार में बैठ कर चलते हैं , !!
सौम्य कहती है ,*" तुम कलेक्टर हो मैं एस पी हूं ,तब ये लोग ऐसा व्यवहार कर रहे हैं , अगर कहीं हम दोनो कमजोर पोजीशन में होते तो शायद मार ही देते ,*"!!

योगेश कहता है ,*" मैने तो पहले ही कहा था ,मेरा पूरा परिवार आज भी सौ साल पुराने वाले ज़माने में जी रहे है ,इसीलिए मैं कह रहा था कि एकाध साल के बाद बताते हैं , *"!!
सौम्या मुस्कराकर कहती है ,*" तब तक तो तुम्हारा सौदा तय तो हो ही गया था ,अंदर जाते हुएं तुम्हारी भाभी ने कहा ना  एक करोड़ रुपए और गाड़ी चला गया , कमाल है ,और मैं नीच कहां से हो गई ,!!
योगेश कहता है *" अब यार तुम बस भी करो मैं वैसे ही बहुत डिस्टर्ब हूं अब और मत करो ,*"!!
सौम्या की पोस्टिंग इसी तहसील में हुई थी उसका ससुराल भी उसी के हद में आता था ,!!
कुछ वर्ष पहले ठाकुर साहब की मेहरबानी से डकैत जग्गा पकड़ा गया था ,वह कुछ घंटे पहले ही जेल तोड़ कर भागा ठाकुर सबसे पहले वह ठाकुर साहब के ही घर पर धावा बोलता है , और पूरे परिवार के साथ वह ठाकुर साहब को उठा कर ले जाता है , वैसे तो वह उन्हे वहीं गोली मारना चाहता था पर उसके साथी कहते हैं ,सरदार पहले इस से वसूली तो किया जाए फिर मरना तो है ही , इसलिए वह वहां से दस किलोमीटर दूर बीहड़ में उनका अड्डा था जहां उन सबको ले जाते हैं , !!
पूरा परिवार जग्गा के चरणों में गिरकर माफी मांगने लगता है , जग्गा कहता है *" पहले तेरे बेटे को भेज कर सारे गहने  और पैसे बैंक से निकलवा का ला  तब तेरे पूरे परिवार को छोड़ दूंगा पर तुझे नही छोडूंगा ,*"!!
उनके दोनो बेटे तुरंत तैयार हो जाते हैं ,राकेश कहता है ,*" बाबूजी अब आपकी जिंदगी में बचा ही क्या है ,सब कुछ देख लिया है ,अब हम लोगो को तो जीने दो, दे दो सब कुछ  हम तो बच जायेंगे ,*"!!!
ठाकुर साहब को अपने बेटे के बातो से आश्चर्य चकित रह जाते हैं,!!
इधर सौम्या को खबर मिलती है की जग्गा ने  उस  ठाकुर और उसके परिवार को उठा लिया है जिसने उसे पकड़वाया था , सौम्या जब उस ठाकुर के बारे में पूछती है ,तो जानकर चौक जाती है ,जग्गा ने तो उसके ससुर और उनके परिवार को उठा लिया था ,वह तुरंत योगेश को खबर कर अपनी टुकड़ी तैयार कर योगेश से वादा करती है की सभी को सही सलामत ले आऊंगी ,!!

योगेश भी  वहां के कलेक्टर से बात कर कहता है की*"  सर वो मेरा परिवार है,*"!!
कलेक्टर उसे तसल्ली देते है और वह तुरंत जिले में कॉन्टैक्ट कर फोर्स मंगवाते हैं ,*"!!!

सौम्या अपने अधिकारियों को सारी स्थिति बताते हुए करीब  बारह साथियों के साथ जग्गा के अड्डे पर पहुंच जाती है , और अपनी जान पर खेलकर अपने परिवार को जग्गा से बचाती है , जग्गा  ठाकुर साहब को गोली मारता है तो उन्हे बचाने के लिए खुद सामने आती है और गोली उसके कंधे पर लगती है पर वह जग्गा को भी गोली मार देती है , !!

ठाकुर साहब अपनी इस छोटी बहू को उसके लिए अपनी जिंदगी को दाव पर लगाते देख भौचक्के रह जाते हैं , सारे डकैत मारे गए थे ,काम सिपाही और दो छोटे अधिकारियों को साथ लेकर जो बहादुरी सौम्या ने दिखाई थी ,उसके लिए उसे डिपार्टमेंट से शब्बाशी और प्रमोशन दोनो ही मिलता हैं,और सबसे बड़ी बात यह थी  उसे जबसे हॉस्पिटल में भर्ती किया गया था ,उसके सास और ससुर वहां से हिले नहीं थे , योगेश भी छुट्टी लेकर आ गया था ,!!
हॉस्पिटल से छुट्टी मिलते ही योगेश उसे अपने साथ  लेकर जाने लगता है तो उसकी मां कहती हैं *"बेटा मेरी बहु मेरे साथ रहेगी , हमे माफ कर दो *"!!!
एक साल बाद ठाकुर साहब के यहां पर बहुत बड़ा उत्सव हो रहा था ,उनकी छोटी बहु सौम्या को बेटा हुआ था ,  सौम्य के मां पिता जी और भाई भाभी भी आए थे ,उसके पिता ने उसे बेटे होने की खुशी में एक मर्सडीज कार गिफ्ट में दिया , जो सौम्य ने ठाकुर साहब को दे दिया था ,!!
ठाकुर साहब खुश होकर नाच रहे थे , किसी ने उनसे पूछा *" क्या ठाकुर साहब  नीच घर को बहु लाकर इतनी खुशी हो रही है ,*"!!
ठाकुर् साहब उस से कहता है,*" ये हमारी भूल थी  कोई ऊंच नीच  नही होता है , सभी इंसान हैं ,*"!!

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ठाकुर महेंद्र सिंह के छोटे बेटे ने अपने से छोटे जाति की लड़की से विवाह कर लिया तो घर में आफत आ गई ,उसे घर ने रुकने नही दिया गया ,!!!

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