*मेहनत*आगे बढ़ो,छू लो आसमां अपनी मेहनत से,मँजिलें नहीं मिलती केवल किस्मत से। ©प्रदीप त्रिपाठी "दीप" ग्वालियर(म.प्र.)🇮🇳
मेहनत की कमाईएक सेठ थे। उनकी कोठी के बाहर सड़क के किनारे एक मोची बैठता था जो जूते मरम्मत करने के दौरान बीच -बीच में भजन या कोई गीत गुनगुनाता रहता था, लेकिन सेठ जी का ध्यान कभी मोची के गानों पर नहीं गया। एक बार सेठ जी बीमार पड़ गए। बिस्तर पकड़ लिया । घर में अकेले पड़े थे तो उन्हें मोची के भजन सुनाई
मेरे प्यारे दोस्तों, या यूँ कहूं कि मेरे दसवीं , बारहवीं और प्रतियोगी परीक्षा के अचयनित दोस्तों। ये लेख विर्निदिष्टतः आपके सब के लिए ही लिख रहा हूँ जो किसी परीक्षा में विफल हो जाने पर आत्महत्या जैसे बेतुके विचारो को अपने मष्तिष्क द्वारा आमंत्रित करते है। और क