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बिंदिया

5 फरवरी 2022

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जिंदगी हसीन हो गईं यारो "

तन्हाई कम हुईं यारो ,मरे महफ़िल में

आज ..."

उसकी बिंदिया मेरी निंदिया ले गयी यारो |

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वैलेंटाइन
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मेरा कविता संग्रह आपकी सेवा में ऱखते हुए मुझे बेहद ख़ुशी है | एक प्यारकी परिभाषा है ' जो आखो से उतरकर दिल मे दस्तक देती हैं ' जो सारे संसार को अद्भुत बनने में संयोग करती है | ऐसे ही मेरी लिखी कूछ पंक्तिया प्यार नाम प्यार को समर्पित हैं | धन्यवाद कवि सागर चव्हाण

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