दोस्तों हम सब भारतवासी हैं और भारत की मिट्टी पर हमारा ऋण है | हम अपने देश को माँ का दर्जा देते हैं और अगर हमारी माँ या परिवार की तरह कोई आँख भी उठाता है तो कायदे से समझाना भी जानते हैं |
चाहे वो 1971 का पाक - भारत युद्ध जिसमे उनको पूर्व/भारत से खत्म ही कर दिया या कारगिल हो या 2019 की सर्जिकल स्ट्राइक हो |
इसी क्रम में पूरी दुनिया को खटकने वाला एक देश है नाम है चीन और यहां रहने वाले लोग चीनी कहलाते हैं |
एक कहावत अपने सुनी हो होगी आँख के अंधे नाम नयनसुख वही कहा चीनी का है नाम है चीनी पर बोलेंगे तो मल मूत्र की तरह ही |
अपनी विस्तार वादी नीति के लिए पूरे विश्व को खटकने वाला देश में एक अच्छी चीज हमको देखने को मिलती है वो ये की चीनी अपने देश के लिए वफादार होते हैं जो सबसे महत्वपूर्ण होता है क्योकि गद्दार कभी नही पूजा जाता है
विभीषण राम जी के भक्त हैं ये जानते सब हैं ,
मगर जो देश द्रोही हो उसे पूजा नही जाता |
- कविता तिवारी
* *ये देश द्रोही सुप्रीम कोर्ट के आधार पर हैं न की किसी राजनीतिक पार्टी और उनके दरबारियो और तलवे चाटने वालों के आधार पर )
आइये शुरू करते हैं आज का लेख 😊
दोस्तों भारत के 1 अक्टूबर 1949 को ब्रिटिश साम्रज्य से (हालांकि पूर्ण गुलाम नही था) एक देश आज़ाद हुआ नाम था चीन |
उसके बाद अपने विकास और जमीन विस्तार के साथ समुद्री सीमा के विस्तार को लेकर कई देशों को परेशान करना शुरू कर दिया और विश्व मे इसकी छवि हो गयी ड्रैगन की | तिब्बत को खत्म करना या अब हांगकांग को परेशान करना हो हर तरफ अपने कुकृत्य में आगे होता जा रहा है चीन |
जनसंख्या में सबसे ज्यादा होने के का इनके विकास पर असर नही पड़ा क्योंकि इन्होंने उसी जनसख्या को एक हथियार के तौर पर बना लिया |
पहले ही सबकी नजरों में गिर चुका चीन का सबसे बुरा चेहरा तब आया जब इसने दुनिया मे वायरस हमला किया |
एक अमानवीय कृत्य जिसने पूरे विश्व मे ऐसा असर डाला कि सबसे बड़ी महामारी कोविड -19 फैला दी जिसको लेकर ऑस्ट्रेलिया और अमेरिका की नज़रों में ये चढ़ चुका है |
उसके बाद भारत पर इसने पुनः टेढ़ी नज़र डालनी शुरू कर दी है अरुणांचल सीमा हो या कश्मीर सीमा बीच बीच में फड़फड़ाने लगता है | और जब कचर दिया जाता है तो शांत हो जाता है पर जब तक इसको ठोस इलाज नही मिलेगा ये सुधरेगा नही |
मेरे हिसाब से विश्व की सभी शक्तियों को एक जुट होकर इसका सटीक इलाज करना ही चाहिए अन्यथा आने वाले समय मे ये नासूर बन जायेगा |
फिलहाल चीनी लोगों के हर भारतीय की ओर से एक ही जवाब देना चाहूंगी जो मधुर जी की कविता है:-
घुड़की दिखाए किस बात का घमण्ड तुझे ,
हम तेरी ताकत को तौल के पी जाएंगे |
हम हैं अमर जो शहादत का सोमरस ,
पीना भी पड़ा तो दिल खोल कर पी जाएंगे |
हम नीलकण्ठ जो उगलता जहर है तू,
हर हर महादेव बोल कर पी जाएंगे |
भारत से कभी टकराना नही चीन
यहां चाय वाले हैं जो चीनी घोल कर पी जाएंगे||
जय हिंद 🇮🇳 🙏