Dr Anita Mishra
मैं समाजशास्त्र विषय की प्रोफेसर हूं और शब्दों की लड़ियां पिरो कर भावों को व्यक्त करने में विश्वास करती हूं।
ज़ायका
स्वाद का हर व्यक्ति दिवाना होता है। स्वाद मीठा किसी को पसंद होता है तो किसी को कड़वा तो किसी को चटपटा तो किसी को खट्टा आदि। कोई दक्षिण भारतीय व्यंजनों का दिवाना होता है तो कोई गुजराती ढोकले का।सबका पसंद अलग-अलग होता है लेकिन भोजन बिना हर जीवन बेकार ह
ज़ायका
स्वाद का हर व्यक्ति दिवाना होता है। स्वाद मीठा किसी को पसंद होता है तो किसी को कड़वा तो किसी को चटपटा तो किसी को खट्टा आदि। कोई दक्षिण भारतीय व्यंजनों का दिवाना होता है तो कोई गुजराती ढोकले का।सबका पसंद अलग-अलग होता है लेकिन भोजन बिना हर जीवन बेकार ह
शब्दों की लड़ियां
शब्दों की लड़ियां पिरो उन्हें भावों से अलंकृत कर खुबसूरत भावाभिव्यक्ति के साथ ख्वाहिशों के मुताबिक सजाती हूं और अपने पाठकों व प्रशंसकों के दिलों में जज्बातों को जगा उनके दिल को छूना चाहतीं हूं। बोलिए, आप सब मेरा साथ देंगे।अपना प्यार और दुलार हम पर लु
शब्दों की लड़ियां
शब्दों की लड़ियां पिरो उन्हें भावों से अलंकृत कर खुबसूरत भावाभिव्यक्ति के साथ ख्वाहिशों के मुताबिक सजाती हूं और अपने पाठकों व प्रशंसकों के दिलों में जज्बातों को जगा उनके दिल को छूना चाहतीं हूं। बोलिए, आप सब मेरा साथ देंगे।अपना प्यार और दुलार हम पर लु
कहानी संग्रह
बहुत सी चीजें हमारी आंखों के सामने घटित होती है और उसमें से कुछ बातें हमारे दिल को छू जाती है। उन्हीं घटनाओं में से कुछ घटनाओं को कहानी के माध्यम से आपके समक्ष प्रस्तुत कर रहे हैं और आप सबसे निवेदन है कि हमारी कहानियां पढ़ कर अपनी भावाभिव्यक्ति अवश्य
कहानी संग्रह
बहुत सी चीजें हमारी आंखों के सामने घटित होती है और उसमें से कुछ बातें हमारे दिल को छू जाती है। उन्हीं घटनाओं में से कुछ घटनाओं को कहानी के माध्यम से आपके समक्ष प्रस्तुत कर रहे हैं और आप सबसे निवेदन है कि हमारी कहानियां पढ़ कर अपनी भावाभिव्यक्ति अवश्य
दैनन्दिनी बच्ची
जब हम जीवन के उतार चढ़ाव से गुजरते हैं तो हमें किसी अपने की आवश्यकता होती है जिससे हृदय के जज्बातों को कह सकें और दुनिया के तनाव से मुक्त हो खुलें आसमान में उड़ सके। मेरी प्यारी डायरी बच्ची मेरी सखी, मेरी सब कुछ है जिससे मैं सारी बातें शेयर करती हूं
दैनन्दिनी बच्ची
जब हम जीवन के उतार चढ़ाव से गुजरते हैं तो हमें किसी अपने की आवश्यकता होती है जिससे हृदय के जज्बातों को कह सकें और दुनिया के तनाव से मुक्त हो खुलें आसमान में उड़ सके। मेरी प्यारी डायरी बच्ची मेरी सखी, मेरी सब कुछ है जिससे मैं सारी बातें शेयर करती हूं
मन दर्पण
मन मयूर प्रफुल्लित हो जब नृत्य करने लगता है।सच पूछो तो तन मन प्यार पा गा उठता है। प्रेम जीवन में बहार लाता है और खुशियों की सौगात लाता है। जहां प्रेम नहीं है वहां जीवन नीरसता से भरा हुआ होता है। प्रेम बंजर जमीन में भी फसलें उगा सकता है।।
मन दर्पण
मन मयूर प्रफुल्लित हो जब नृत्य करने लगता है।सच पूछो तो तन मन प्यार पा गा उठता है। प्रेम जीवन में बहार लाता है और खुशियों की सौगात लाता है। जहां प्रेम नहीं है वहां जीवन नीरसता से भरा हुआ होता है। प्रेम बंजर जमीन में भी फसलें उगा सकता है।।
अन्नू के जज़्बात
मेरे बाबाजी ने मुझे अपने जज्बातों को शब्दों में ढालना सिखाया था और मैं उनकी याद में हृदय में उमड़ते घुमड़ते अक्षरों को शब्द बना लेखनी से अपनी आपके समक्ष प्रस्तुत कर देती हूं। यह पुस्तक मैं अपने बाबाजी के चरणों में और प्रत्येक कविता उनके प्यार के हरेक
अन्नू के जज़्बात
मेरे बाबाजी ने मुझे अपने जज्बातों को शब्दों में ढालना सिखाया था और मैं उनकी याद में हृदय में उमड़ते घुमड़ते अक्षरों को शब्द बना लेखनी से अपनी आपके समक्ष प्रस्तुत कर देती हूं। यह पुस्तक मैं अपने बाबाजी के चरणों में और प्रत्येक कविता उनके प्यार के हरेक
Anita Mishra की डायरी
यह किताब मन के उद्गारों को शब्दों में बांध कर डायरी लेखन से जोड़ दिया है। आप प्रबुद्ध जन पढ़ें और मार्गदर्शन करें 🙏
Anita Mishra की डायरी
यह किताब मन के उद्गारों को शब्दों में बांध कर डायरी लेखन से जोड़ दिया है। आप प्रबुद्ध जन पढ़ें और मार्गदर्शन करें 🙏
सुख सागर
आती जाती लहरों की तरह भावनाएं भी उमड़ती घुमड़ती रहतीं हैं और जो भावनाएं शब्द बन लेखनी द्वारा उकेरा जाएं तथा जन मानस के हृदय को स्पर्श करें। जनमानस द्वारा दिया गया प्यार ही हम लेखकों का सुख सागर है जिसमें गोता लगा नया सृजन निकलता है।
सुख सागर
आती जाती लहरों की तरह भावनाएं भी उमड़ती घुमड़ती रहतीं हैं और जो भावनाएं शब्द बन लेखनी द्वारा उकेरा जाएं तथा जन मानस के हृदय को स्पर्श करें। जनमानस द्वारा दिया गया प्यार ही हम लेखकों का सुख सागर है जिसमें गोता लगा नया सृजन निकलता है।
धरोहर
मनुष्य सृजन शील प्राणी है और हमेशा कुछ नया आयाम बनाने में लगा रहता है। सभ्यता, संस्कृति, परंपरा, रीति रिवाज,रहन सहन, धर्म कर्म पीढ़ी दर पीढ़ी हस्तांतरित करता है उसे हम उस परिवार, समाज की धरोहर कहते हैं उसी प्रकार मेरे मन में शब्द उमड़ घुमड़ कर कविता
धरोहर
मनुष्य सृजन शील प्राणी है और हमेशा कुछ नया आयाम बनाने में लगा रहता है। सभ्यता, संस्कृति, परंपरा, रीति रिवाज,रहन सहन, धर्म कर्म पीढ़ी दर पीढ़ी हस्तांतरित करता है उसे हम उस परिवार, समाज की धरोहर कहते हैं उसी प्रकार मेरे मन में शब्द उमड़ घुमड़ कर कविता
समाज
समाज में जागरूकता दिखावे में है जबकि बहुत सी चीजें जनता जानती ही नहीं है इसलिए समाज को आईना दिखाने की आवश्यकता है।।
समाज
समाज में जागरूकता दिखावे में है जबकि बहुत सी चीजें जनता जानती ही नहीं है इसलिए समाज को आईना दिखाने की आवश्यकता है।।