हमारे इस पेज बनाने का केवल एक ही उद्देश्य है कि शिक्षा के बिना मानवीय जीवन का कोई अस्तित्व नहीं है। यदि मनुष्य शिक्षा से जुड़ा हुआ है तो वह मानव है नहीं तो दानव । शिक्षा हमारे विचारों में सकारात्मक परिवर्तन लाती है और यही परविर्तन हमें दानव से मानव बनाता है। इसकी प्राप्ति के लिए हमें अधिक से अधिक भाषाओं का ज्ञान अर्जित करना चाहिए। भाषा ही हमारी भावनाओं की अभिव्यक्ति का प्रमुख साधन है। इसलिए भाषा और शिक्षा के बिना मानवीय जीवन पशु है। किन्तु हम पशु नहीं बनना चाहते । प्रकृति ने हमें बुद्धि प्रदान की है। हमें उसका भरपूर लाभ उठाना चाहिए। इसलिए हम अपने मित्रों के सहयोग से इस वैबपेज के माध्यम से मानवीय जीवन में भाषा और शिक्षा के महत्व से संबंधित प्रत्येक विचारधारा पर चर्चा करते रहेंगे। धन्यवाद । रवीन्द्र कुमार