*श्रीमते रामानुजाय नमः* *अज्ञानता वस किसी पर संदेह करना एक दिन मनुष्य को ऐसी स्थिति में पहुंचा देता है कि वह पश्चाताप की अग्नि में जलने लगता है और उसे प्रायश्चित का कोई उपाय नहीं दिखता बिना जाने बिना विचार किए किसी प्रकार का निर्णय करना कितना गलत होता है यह भगवान श्री कृष्ण जी ने अपनी लीला मात्र से
“हे राम” तीसजनवरी 1948की शाम राष्ट्रपितामहात्मा गांधी के अंतिम शब्द डॉ शोभाभारद्वाजसंयुक्त भारत दोटुकड़ों में बार चुका था भारत एवं पश्चिमी ,पूर्वी पाकिस्तान (1971 में पाकिस्तानसे अलग बना बंगलादेश ) अफ़स