रूठना ,
रूठ कर मान जाना
समर्पित कर देना स्वयं को
किसी के प्रेम में ,
उसकी आगोश में
यही वो समर्पण है
जो बनाता है नारी को
एक निःशस्त्र परन्तु
अद्वितीय विजेता .
23 अगस्त 2022
रूठना ,
रूठ कर मान जाना
समर्पित कर देना स्वयं को
किसी के प्रेम में ,
उसकी आगोश में
यही वो समर्पण है
जो बनाता है नारी को
एक निःशस्त्र परन्तु
अद्वितीय विजेता .
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मैं अपने बारे में क्या बताऊ सिर्फ यही कह सकता हूँ कि कुछ जज्बातो को शब्दों में पिरोने की कोशिश है , उम्मीद है आप सभी को पसंद आएगी D