नारी शक्ति स्वरूपा नमन कीजिए। अपने भावों को थोड़ा मनन कीजिए।। नारी अबला बेचारी अब नहीं रह गई। इनको उड़ने के खातिर चमन दीजिए।। सम्मान होता रहा जिनका वैदिक काल से। बाद आई विसंगतियों का शमन कीजिए।।
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