कुछ कहानियां अंधेरे से शुरू होता है….
इसको कहानी कहो या हकीकत पर इसके जख्म मेरे जहन में आज तक है
जीवन की शुरुआत से ही शैतान इंसानों को दुनिया में दाखिल होना चाहता है पर किसी ना किसी द्वारा उस पर लगाई बंदिश की वजह से कभी इंसान के सामने नहीं आता लेकिन जब कभी कोई इंसान शैतान को याद करता हे उसको बुलाता हे तो वो जरूर आते हे और वो जब आते हे तो सौदा करते है।
और फिर शुरू होता है जिंदगी और मौत का सिलसिला।
यह कहानी देव नाम के लड़के की है।
जो कि दूसरे इंसानों की तरह इस दुनिया में अपनी किस्मत अपने हालात अपने जज्बातों अपनी और अपने परिवार और जीवन की कठिनायों से लड़ रहे हैं।
जिंदगी की इन सब परेशानियों के बीच वह खुद को और उसके परिवार को संभाले रखा है पर परेशानियां अक्सर इंसान को गलत राह की तरफ ले जाती है वो भी यही सोचता है कि कहीं ना कहीं से कुछ ना कुछ ऐसा हो जाए की वो भी बाकी दुनिया की तरह खुश रहे अपनी लाइफ अच्छी जीए उसके सारे दुख तकलीफ समाप्त हो जाए उसका घर परिवार खुश रहे और उनके सभी सपने पूरे हो।
एक दिन देव अपने ऑफिस में काम कर रहा था किसी बात पर उसके बॉस और उसकी कहासुनी हो गई उसके बॉस ने उसको सभी के सामने उसे चिला दिया और कहा कि तुम्हें यहां काम करना है तो ठीक है वरना तुम जा सकते हो अभी जो भी काम होगा वह मेरी बोलने से मेरी तरह से ही होगा सब कुछ मेरे द्वारा ही निर्धारित होगा और उसी बात पर देव को गुस्सा आ जाता है और चुपचाप गर्दन नीचे करके अपना काम करके ऑफिस से निकल जाता है।
देव ने उस समय कुछ भी नहीं बोला वह खामोश रहा चाहता तो वह जवाब दे सकता था लेकिन उसके घर परिवार की मजबूरियों ने घर के लोन की ईएमआई और घर के खर्चों ने उसका मुंह बंद कर दिया वह चाहते हुए भी कुछ भी नहीं बोल सका और मन ही मन अपनी किस्मत को कोसने लगा।
और छुट्टी के बाद घर ना जाकर वो पास ही की पहाड़ी पर दारू ले कर चला गया। उस दिन बहुत बारिश हो रही थी और उसने बहुत पीने के बाद जोर जोर से रोने लगा और चीखने चिलाने लगा कभी किस्मत को तो कभी भगवान को कोसने लगा।
उसने आसमान की तरफ देखा और जोर से कहा की मेरे साथ ही ऐसा क्यों कर रहे हो मेरे साथ ही ऐसा क्यों होता है और भी लोग हे इस दुनिया में वो कितने अच्छे से खुशी से मजे से रह रहे हे। उन सभी को छोड़ कर आप मेरे ही पीछे क्यों पड़े हुए हो क्या अपको में ही मिलता हु मजे लेने के लिए क्या मुझे हक नही हे खुश होने का अच्छे कपड़े पहने का घूमने का अच्छी लाइफ जीने का मेरा भी मन करता ही ये सब करने का तो क्यों अपने मेरी लाइफ बर्बाद कर रखी हे। क्यों करोड़ों लोगों को छोड़ कर मेरे ही पीछे पड़े हुए हो……..
बस इतना सब बोलने के बाद उसने कहा आज के बाद में किसी भगवान को नहीं मानता।
कोई नहीं हे मेरे साथ ना ही कोई आएगा।
अगर मेरी कोई मददात कर सकता है मेरी जिंदगी अच्छी कर सकता है तो वो मेरे लिए भगवान होगा जब तक में उसको देख ना लु तब तक यकीन नही करूंगा। मुझ ये बेकार जिंदगी नही चाइए। में आज अपनी ये लाइफ खतम कर रहा हु। मुझ नफरत हे भगवान से अगर मेरे मरने के बाद कभी कही अगर कुछ हे तो मुझे भगवान का घर नही चाइए मुझ शैतान चाइए शैतान का घर नर्क चाइए। नही देखना मुझे उस भगवान को जिसने मुझे इस धरती पर इंसान तो बनाया पर जीवन कुत्तो की रहा दिया। …..
मुझ स्वर्ग नही नर्क चाइए……
मुझे भगवान नही शैतान चाइए…….
बस इतना बोलते ही वो ऊंचाई से कूद पड़ा पर अचानक वक्त रुक गया। वो ना धरती पर था ना आसमान में सब कुछ जैसी कोई थम सा गया और फिर तूफानी बारिश के साथ बिजलियां गिरने लगी और काला घना अंधेरा होने लगा और फिर काले घने बदलो में चमकती बिजलियों में उसने उसे देखा जिसे दुनिया कभी देखना नही चाहती जिसकी बाते भी कोई नहीं करता जिसका जन्म अंधेरे से हुआ हे उसके कई नाम हे पर हम उसे कहते हे………शैतान
उसके। बाद अब शैतान और देव आमने सामने थे । शैतान कहता है को तुम्हारी भगवान की दी हुई तुम्हारी जिंदगी अब समाप्त हो गई है। उसने तुम्हारी जिंदगी यही तक लिखो थी यही अशंतोसा और दुखी अंत हे तुम्हारी जिदंगी का कितनी कमाल की बात हे ना तुम्हारा भगवान जिंदगी देता तो हे पर तुम्हे इस दुनिया में अकेला लाचार छोड़ देता है जानवरो जैसी जिंदगी जीते हो और एक दिन दुख दर्द और बूढ़े कमजोर हो कर मर जाते हो यही हे तुम्हारी किस्मत यही हे तुम्हारे भगवान द्वारा दिया गया तुम्हारा भाग्य। तुम्हारा भाग्य विधाता तुम्हे भुल जाता हे हमेशा।
पर अब तुम्हारी तो जिंदगी खत्म हो है हे यही तक का सफर था तुम्हारा में तुम्हारा साथ पहले नही दे सकता था क्यों कि ये उसकी दुनिया हे ओर इस दुनिया में दखल नहीं दे सकता हु। ना किसी के जीते जी उसको मिल सकता हु आज तुम्हारी उसकी दी हुई लाइफ खतम हो गई हे आज तुम जीवन मरण के बीच खड़े हो अब तुम बताओ तुम्हे ऐसे ही बिना कुछ पाए ही मरना हे या वो सब करना हे जिसके बस तुमने अभी तक सपने ही देखे हे। अगर तुम्हारी हा हे तो मेरी बस कुछ शर्ते हे।
की अब तुम्हारी जिन्दगी मेरी दी हुई ये और तुम्हारी हर सास पर मेरा हक हे तुम्हारी जिंदगी अब मेरी हे तुम्हारी आत्मा आज से मेरी हे तुम्हे अपनी जिंदगी में वो सब मिलेगा जो तुम चाहते हो लेकिन होगा सिर्फ जो में चाहता हु। अगर तुम्हे ये सब मंजूर हे तो बताओ मुझे में तुम्हे अपना बना लु।
इतना सुन कर देव चुप सा हो जाता है उसको कुछ समझ नहीं आ रहा था की ये सब आखिर हो क्या रखा है।वो मर गया है की जिंदा हे या ये कोई सपना चल रहा है ।
लेकिन उसको अभी सिर्फ शैतान की बोली गई बाते सुनाई दे रही थी उसने हमेशा यही तो सोचा था की कोई चमत्कार हो जाए उसकी लाइफ ठीक हो जाए सब सपने पूरे हो जाए और आज उसकी पूरी लाइफ भगवान ने दुख दर्द तकलीफ ही दी थी लेकिन आज ये शैतान उसको वो सब कुछ देने को त्यार था जो वो हमेशा चाहता था।
उसने बिना समय गवाए शैतान से कहा की उसको वो सब मंजूर हे जो उसको शैतान ने कहा है।वो आज से उसका सब कुछ शैतान को समर्पित करता हे। उसकी जिंदगी उसकी मौत उसकी आत्मा उसके पुण्य और उसके पापा आज से सब कुछ शैतान का हे।
उसके इतना बोलते ही शैतान का जिस्म लाला पड़ने लगता है को खुश होने लगा है आसमान में बिजलियां चमकने लग जाती है और फिर शैतान देव को देता है एक बहुत ही शक्तिशाली विधियां जिसके द्वारा वो किसी को भी अपने एक मंत्र के द्वारा अपने वश में कर सकता है उसको आखों और बोली के द्वारा कोई भी मनुष्य उसके बोलने पर कुछ भी कर सकता हे।
शैतान कहता है को ये शक्ति से तुम चाहे जीत जितना धन कमा सकते हो जिसे जितना धन लेना चाहे वो तुम्हारे तुम्हारे एक बार बोलने पर दे देगा।
लेकिन तुम्हे इस शक्ति से मेरा बस इतना कार्य करना हे को इस दुनिया में जितने भी वो लोग हे जो भगवान को प्राप्त करने के लिए उस से जुड़ने के लिए उसकी भक्ति करने के लिए लोगो को प्रेरित करते हे उनको ज्ञान देते हे भक्ति का मार्ग बता रहे हे। भगवान को अच्छा और शैतान को बुरा बता रहे हे। जो शैतानी सोच और शैतान के अस्तित्व को खतम करना चाहते हे तुम्हे उन लोगो को बहुत बुरी मौत दे कर उसकी आत्मा को मुझ तक पहुचानी पड़ेगी।
और जब तक तुम ये करते रहोगे तुम जिंदा रहोगे जिस दिन तुमने ये सब करना बंद किया में उस दिन तुम्हे खुद आकर इतनी भयानक मौत दुगा। जो तुमने सोची तक नही होगी।
देव बोलता है मुझे अब न इस दुनिया से कोई मतलब हे ना ही उस भगवान से जिसने मुझे अकेला तकलीफों में छोड़ दिया था। आज से जो आप बोलोगे वही होगा।
देव उस शक्ति को पाने के बाद बहुत खुश होता है ।
वह अब अमीर बने के लिए बहुत बेताब रहता है।
और सोचता है की कैसे इन सब को आसान बनाया जाए की अमीर भी हो जाए और शैतान के दिया वचन भी पूरा हो जाए।
यही सोचा कर देव उस शहर हे एक प्रसिद्ध बाबा के बारे में पता लगाता है उसके बारे में जानकारियां लेता है।और जब उसकी पता चलता हे की यह बाबा लाखो लोगो को धर्म की राह देखा रहा है बहुत लोग इसके बोलने पर भगवान पर यकीन कर रहे हे और उस बाबा के पास धन सम्पदा को कोई कमी नही हे तो देव बहुत खुश हो जाता है वो खुशी से जोर जोर से हंसने लगता है और बाजार जाता है और दुकानदार को ही वश में कर के उसके ही नाम से सिम और मोबाइल ले लेते हे। और फिर घर आकर उस बाबा को कॉल करता हे बाबा जी जैसे ही कॉल रिसीव करते हे देव उधर से मंत्र पड़ता है वो शैतान के दिया गए मंत्र शक्ति से वहा बाबा एक बार में ही उसके वश में हो जाता है।
अब देव उस बाबा को बोलता हे की उसके द्वारा बताए गई जगह पर उतने करोड़ रूपए पूछा दे और कई जमीन उसके नाम कर दे जैसा जैसा देव बोलता हे वहा वैसा वैसा करता जाता है। इस शक्ति के द्वारा व्यक्ति रहता तो सामान्य ही हे पर उसके दिमाग में वश सामने वाले का होता है। और उसी के द्वारा देव 15-20 दिनों तक उसका इस्तमाल करता हे और जब उसका सब कुछ वो प्राप्त कर लेते हे। तो एक दिन उसको कहता है की वह एक सुनसान रेल की पटरी पर जाय और वहा किसी धारधार चीज से अपने बदन पर शैतान का चिन्ह बनाए और जैसा देव बोलता हे उस ही रहा वो अपने बदन पर वही के नुकीले पत्थर से अपने बदन पर शैतान का निशान बना देता है उसका खून रिसता रहता है वो चिलाता रहता है और निशान बनाता जाता है। और फिर रेल की पटरी पर आधा सो जाता हे जिस से उसके बदन का नीचे और ऊपर का भाग अलग हो जाए और फिर ट्रेन आकर उसके शरीर के दो टुकड़े कर देती है मौत के आते ही वशीकरण खतम हो जाता हे और ट्रेन उसको दो भागो में लग करती उस वक्त वो पूरे होसोहवास में आ जाता हे। जिस से उसकी तड़प तड़प कर चिक चिक कर बहुत ही भयानक दर्द से उसकी मौत होती है जिसमे उसका आधा हिस्सा अपने आधे हिस्से को देख कर मारता हे। उसकी इतनी भयानक मौत और उसके शरीर पर बने शैतान के निशान ने पूरे शहर भर में डर का माहोल बना दिया था। लोग शैतान की बाते करने लगे डरने लगे और यही शैतान चाहता था।
और दुरारी तरफ शहर में हुई इतनी भनायक घटना ने पोलिस को हिला कर रख दिया था। की इतना ज्ञानी इंसान जो लाखो लोगो को सही मार्ग देखा रहा था वो कैसे अपना मार्ग भुल कर ऐसा कुछ कर सका है। पुलिस को इस बात का पता लगाना बहुत जरूरी था। और इस केस के इंचार्ज थे विक्रम रावत जो की बहुत काबिल और होनहार स्पेक्टर थे।
विक्रम की छोटी सी फैमली हे और इस शहर में आए 2 साल हो चुके है।