माँ मेरी माँ मुझे पता चला है,
मैं तेरी कोख में हूँ ,
ये जान ना लेना मेरी जान,
मैं डरने लगी हूँ , पिघलने लगी हूँ,
सोच यही की मैं लड़की हूँ ,
मुझे डर लगता है , ये जान ,
की पता चली मेरी पहचान
तो तू मिटा ना दे तेरी लाड़ली
की पहचान ,
मैं नहीं करूँगी तंग तुझे,
बस मुझे अपनी भाहों मैं
भरकर थोड़ा प्यार ही दिखा देना
मैं ख़ुश हो जाऊँगी ,
मुझे जीना है इस दुनिया मैं माँ
चाँद तारों से बातें करने का एक
मोका तो दे माँ ,
ना ख़र्चे की सोच तू ओ माँ
मैं भैया के कपड़ों से ही काम चलूँगी ।
इतनी बुरी नहीं हूँ मैं माँ की डर लगता
है तुझको मुझसे , लड़का होता तो
क्या तू ना रखती उसका ध्यान
माँ मैं तो इस दुनिया मैं आऊँगी
परायी अमानत बनकर,
हातों मैं मेहंदी रचेगी ,
फिर उड़ जाऊँगी मैं ,
मैं तो तेरी कोख मैं हूँ मेरी
तो आवाज़ नहीं है ,
पर तू तो समझ सकती है ...
मुझे आना है इस दुनिया मैं
तेरी बेटी बनकर , बस मेरा यही
कहना है, चीख़ - चीख़ कर ये कह
रहीं हूँ मैं , मत मारना मुझे
बेरहमी से...... मेरी भगवान
से यही प्रार्थना है की तुम हमेशा
ख़ुश रहो
तुम्हारी
अजन्मी बेटी
-- योगिता वार्डे " खत्री "