shabd-logo

दिवाली महोत्सव

27 अक्टूबर 2022

13 बार देखा गया 13

आई आई दिवाली कहते कहते, दिवाली कब हो गई पता ही नही

चला।यह सब जादू है दिवाली का, इस मे जो आनंद आया, वह

क्यू आया ? । सोचो तो पता चलेगा, की दूर दूर जो चले गये ,ऐसे

अपने वो सब लोग, मानो घर तरफ खिंचे चले आये ।

आँखो के सामने वो सब चार दिन ही सही आये तो थे ।

नाना -नानी की आँखो मे खुशी के आंसू तो छलके । बस यही तो

आनंद था उनके लिए, निराशा मनसे दूर दूर थी, दिवाली मे ।

छोटे-,बडे मिले गले । मिठाई खाई मिलकर सबने ।

दिवाली मे इसी खुशी के दिये जले घर घर मे 

-------------------------- --

-अरुण वि.देशपांडे-पुणे

9850177342


 



किताब पढ़िए

लेख पढ़िए