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जनाब क्या लिखूँ इस कोरे कागज पर ? जो लिखूँ ,सच लिखूँ या फरेब मगर इतना जरूर है मेरी कलम से जो लिखूँ सच लिखूँ जो पढ़े उसके भीतर में भी सच लिखूँ ओर यह सच क्या है हुजूर ! यह सच जो है हुजूर