shabd-logo

सब ठीक तो है ना?

19 जनवरी 2022

23 बार देखा गया 23

*सब ठीक तो है ना?* 


सब ठीक तो है ना?

 घुटन और खालीपन से भरे  इस थके हुए

 दिल और दिमाग में,

सब ठीक तो है ना?

तुम सब का हाल पूछ लेते थे पहले  

खुद का  हाल भी पूछ लिया ना?

 हर सुबह को ना कह दिया, 

हर  रात से लड़ाई  कर ली,

  दीवारें भी थक गई है,

 यह खामोशी दीवारों के कान में चिल्लाती हैं कि आखिर, तुम चिल्लाते क्यों नहीं?

 सब ठीक तो है ना?

शब्दकोश से वास्ता थोड़ा खराब कर लिया

 "कैसे हो?"

 के जवाब को मैट्रिक का मुश्किल सवाल मान लिया, कुछ भाता नहीं है अब,

 कुछ याद भी नहीं रहता, शायद खुद से ही लड़ाई है,

कैसे जज्बात है यह जो पर्दे में बंद है, 

कौन है वो जो हर गम को मुस्कुराहट के साथ झेलता है,

 कौन है वो जिसे खुशी के माहौल में भी सुकून नहीं,

 तुम ही तो हो ना ?

कुछ अच्छा नहीं लगता अब, एक डर है अजीब सा,

यह जो हो रहा है वह क्या है, जो होगा क्या वो अच्छा होगा, कुछ होगा कि नहीं होगा?

 अब बंद कर दो सोचना।

सुनो, शोर मत मचाओ,

 देखो ना, हर कोई बेहोश है, सब सोच रहे हैं कि सब ठीक है,

 यह झूठ   भी आखिर कितना  ढीठ है,

 यह दिल भी खामोश है, खामोश है यह नसें भी,

 ये लोग भी खामोश है, खामोश हूं मैं भी।


article-image

खामोश तो तुम भी हो,

सब ठीक तो है ना?


 *रीमा सिंह*

Reema Singh की अन्य किताबें

किताब पढ़िए