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,,हसीन वादियों से हवा,,,
,, रह-रह के संदेश सुनाती हैं,,
,,तौर गुजरता हैं वक्त का,,
,, उम्मीद अरमा जगातीं हैं,,
,, गांवों गलियों से कोसो दूर,,
,,खूश्बू खिंचकर लातीं है,,
,,भंवरे बिचारें क्या करें ,,
,, कलियां दिल में बस जाती है,,
🏵🌹🌺
,,माली की भी मीठी नज़रें,,
,, मौडकर कलियां पे जातीं है,,
,,फूलों में काम करने वाले की,,
,, उम्मीदे अनहद इकराती है,,
,, नाम कोइ मेहंदी पे लिखकें,,
,, सहेलियों को हंसाती है,,
,,कल किसी भी दुल्हा की हो,,
,, पर आज ये लुप्त उठाती हैं,,
,,, कलियां 💓 में बस जाती है,,,
🌻🌼🌷
,,,हिंदम्,,, नटवर बारोट,,,
,,,मो ,,,9998884504,,,