लघुकथा— सुख
लघुकथा— सुख रमन ने चकित होते हुए पूछा,' उस को पास बहुत सारा पैसा था. फिर समझ में नहीं आता है उस ने यह कदम क्यों उठाया ?'' पैसा किसी सुख की गारण्टी नहीं होता है,' मोहित ने दार्शनिक अंदाज में जवाब दिया.' क्यों भाई ? क्या तुम नहीं चाहते हो कि