हमारे देश में पुरुष शासित समाज की परंपरा सदियों से चली आ रही है। वहां पर महिलाओं को हमेशा उनपर निर्भर रहना पड़ता था। महिलाएं को सामाजिक और पारिवारिक स्तर पर कई अत्याचारों का सामना करना पड़ता है
इसी वजह से आज भी महिलाओं को उनके अधिकारों के प्रति जागरूक किया जा रहा है। शहर के अनुपात गांव की स्थिति आज भी बहुत बुरी है। ऐसे में हमें छोटे स्तर से इसके सुधार पे काम करने की आवश्यकता है।
हमारे देश में आज के समय में भी लड़को की तुलना में लड़किया कम ही शिक्षित देखी जा रही है।
* शिक्षा में सुधार
*खेल - कूद प्रतियोगिता में बराबर की हिस्सेदारी
*रोज़गार
*आत्मनिर्भता पे जागरूकता
ऐसा कोई कार्य नहीं जो महिलाएं नही कर रही, और ना ही ऐसा कोई क्षेत्र है जहाँ महिलाओं ने अपनी काबिलियत को साबित ना की हो। अगर कानूनी रूप से देखा जाए तो असामनता को मिटाने के लिए सरकार द्वारा कड़े कानून और अधिकार भी लागू किये गए है। बस ज़रूरत है, इनपे अच्छे से कार्य को बढ़ावा देने की। सही माईनो में महिलाओं का सशक्तिकरण तभी मुमकिन है जब महिलाएं खुद एक दूसरे की उदाहरण बने, छोटे और बड़े स्तर पे कोई भी छेत्र की महिला अधिकारी, महिला राज्य मंत्री, सांसद छेत्र महिला, इत्यादि ऐसी कई महिलाएं अपने अपने इलाकों पे छोटे - बड़े पैमानो पे प्रोत्साहन व आगे बड़ने को प्रेरित करने काम कर सकती है। महिलाएं स्वतंत्र होकर अपने सारे फैसले खुद ले सके और उन्हें किसी से घबराने की ज़रूरत नहीं है, इस बात का उन्हें खुद एहसास होना चाहिए। तब जा के महिला असली मायनों सशक्तिकरण बन पाएंगी। स्वतंत्रता का मूल्य अभिप्राय यही है कि "निर्णय की स्वतंत्रता"और यह स्वयं महिलाओं को ही तय करना होगा।
मिशन महिला सशक्तिकरण:-
उत्तर प्रदेश की महिलाओं-बेटियों को स्वावलंबी और सुरक्षा के लिए उन्हें जागरूक करने के लिए मिशन शक्ति अभियान के का शुभारंभ किया गया। लखनऊ के इंदिरा गांधी प्रतिष्ठान में आयोजित कार्यक्रम में वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण, राज्यपाल आनंदी बेन पटेल व मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ सहित कई लोग मौजूद रहे और इसके साथ ही निदेशक महिला कल्याण मनोज राय ने बताया कि मिशन शक्ति के तीसरे चरण में महिलाओं को रोजगार के मुख्यधारा से जोड़ने पर फोकस किया जाएगा।
महिलाओं के सोच की कदर करना हर परिवार और समाज के प्रत्येक व्यक्ति का दायित्व है। हर इंसान की सकराकत्मक सोच महिलाओं के उत्थान के संग एक नए दृश्टिकोण से भरे समाज का निर्माण करने में सक्षम रहेगी।
किसी सरकार से नहीं सुधरेगा देश... क्योंकि मैला तो मन है...
जिस दिन हर पुरुष की सोच जाग जाए... वही सुनहरा पल है।।