तेरी हर एक अदा पर मेरा सब कुछ कुर्बान है ,
तू रोये तो सब मुश्किल ,तेरी हंसी से आसान है ,
पल पल तुझ को तरसता न कुछ और समझता ,
तुझसे दिन है महकता और रात भी मेहरबान है
तू ही तू मुझे सूझता ,किसी का पता नहीं पूछता ,
तन और मन मेरे , गाते सिर्फ तेरा ही गुणगान है
दिल तेरे लिए है धड़कता कहीं भी नहीं ये अड़ता ,
सिर्फ तू ही है मंजिल इसकी बाकि तो मेहमान है.
ऐसी भा गई है तेरी छवि ,दिखते हैं सब अजनबी ,
तू ही है खुदा मेरा और तू ही मेरे लिए वरदान है .