अलग अलग है अनुभव हम सबकी ज़िन्दगी का,
बीता हुआ पल सबक है आने वाली ज़िन्दगी का.
हर झपकती हुई पलक,अपनी अपनी ही झलक,
असर भी नहीं एक, एहसास से भरी ज़िन्दगी का.
नहीं मिलते हैं इरादे, एक दूसरे से किए हुए वादे,
जज्बातों से खेलना,अजीज खेल है ज़िन्दगी का.
अपने अपने अंदाज़ हैं,खुद पर ही करते नाज है,
अकेले ही खोलते हैं राज , मुट्ठी बंद ज़िन्दगी का.
हसरतों से जुदा होना,हरकतों से तब खुदा होना,
मक़सद एक ही होना चाहिए हमारी ज़िन्दगी का.