हमसे हमारी यादों का हिसाब करने आए थे वो आज ,
ताजुब जो अपने थे उनकी तरफ हो गए सारे हमराज .
समझने की कोशिश की ,समझाने का किया आगाज ,
मगर दिल के अब भी दिल में ही रह गए यारो अल्फाज .
16 मई 2016
हमसे हमारी यादों का हिसाब करने आए थे वो आज ,
ताजुब जो अपने थे उनकी तरफ हो गए सारे हमराज .
समझने की कोशिश की ,समझाने का किया आगाज ,
मगर दिल के अब भी दिल में ही रह गए यारो अल्फाज .