जय भारतीय रक्षक वीर,
मत लेना विरोधियों का खीर-नीर,
विरोधियों का सीना देना चीर,
जैसे ही कर्तव्य पथ पर वे हों अधीर।
तुम्हें देशभक्त शीश नवाते,
तुम्हारी जीत के जश्न मनाते,
तुम हम सभी को भाते,
तुम्हारे गुण हम सभी गाते।
बनो माँ चण्डी जैसे सख्त,
कर्त्तव्य निभाओ हर वक्त,
विरोध करे जो भी कम्बख्त,
उसको मारो और पियो उसका रक्त।