दुखों मे ठीक ठाक कटती है जिंदगीबीच मे खुशियां आकर परेशान कर देती है
अनीश की पहली मुस्कानजब अनीश ने पहली बार मुस्कराया था,माँ की गोद में वो लाड़ से लिपटाया था।उसकी नन्हीं-नन्हीं आँखों में चमक थी,जैसे आसमान के तारों की कोई झलक थी।उसकी हंसी में छिपा था संसार सारा,हर आवाज
मै स्कूल जा रहा हूँ। मै स्कूल जा रहा हूँ। कभी जनगण कभी वन्देमातरम गा रहा हूँ। स्वच्छता का संदेश देते क्रम से जा रहा हूँ। मै स्कूल जा रहा हूँ। मै------- अनुशासन व नैतिकता का पाठ