मुंबई--- सपनो का शहर!!
एक खूबसूरत आलीशान बंगलो जिसके बाहर तीन गाड़िया खड़ी है.गार्ड्स और नौकरो से सजा हुआ है..एक सुन्दर बड़े से कमरे मे शॉर्ट्स पहने हुए एक लड़का उंधे मुँह लेता हुआ है। वो आराम से सोया हुआ ही था की एक और लड़का आया उसे उठाते हुए, "उठ जा!युवी.. सुबह के ग्यारह बज रहे है.!
वो लड़का :- सोने दे ना.!!
दूसरा लड़का :- ठीक है, मे अंकल क़ो बुला लेता हु वही तुझे उठाएंगे.!!
वो लड़का झट से उठ उस खडे हुए लड़के क़ो तकिया फेक के मारते हुए "अंकल का चमचा.!!"
वो लड़का तकिया कैच कर :- वो तो हु ही mr. युवराज धनराजगीर.!!
युवराज :- तू ना विराट, कभी पिटेगा मेरे हाथो से.!!ये कहते हुए वो बाथरूम मे चला गया..
दोनों कुछ ही देर मे तैयार होके निचे आ गए..
एक बड़ी उम्र के आदमि :- हाय, बच्चों.!good morning.!!
युवराज :- हाय, डेड!!
विराट :- हाय, अंकल. Good morning.!!
[आइये इनसे मिलवाते है आपको.!!
*युवराज धनराजगीर -- रंग गोरा, कसरती बदन,5.8 हाईट, स्टाइलिस हेयर, कालि मगर दिलकश आंखे.. ये है मुम्बई के मशहूर बिझनेशमेन विवेक धनराजगीर के बेटे..!!इन्हे अपने पापा के बिजनेस मे कोई इंटरस्ट नहीं है.. इन्हे डांस मे इंट्रेस्ट है इन्होने बहुत सारे शो भी जीते है.. और ये यंग जनरेशन मे बहुत मशहूर है.. इन्होने खुद की एकेडमी बनाई है. जहाँ बच्चे डान्स शिखते है और ये खुद भी कोरियोग्राफी करना पसंद करते है..।
*विराट सहगल -- ये भी युवराज की टककर के दीखते है. इनके पापा विवेकजी के दोस्त है और बिझनेश पार्टनर है.. ये कभी कभार ऑफिस चले जाते है पर ज्यादातर युवराज के साथ ही रहते है।
*विवेक धनराजगीर --- ये बहुत आज़ाद ख़्यालात रखते है इनकी पत्नी की मौत के बाद इन्होने ही युवराज क़ो माँ और पापा दोनों का प्यार दीया है। ये युवराज क़ो किसी चीज के लिए फ़ोर्स नहीं करते.उसकी सारी ख्वाइस पूरी करते है.. युवराज भी अपने डेड से प्यार करता है..।]
विवेक जी :-तो बच्चे क्या प्लान है आज के.!!
विराट :- ज्यादा कुछ नहीं. अंकल.!!बस एक इवेंट की कोरियोग्राफी करनी है युवी क़ो तो मे बस साथ जा रहा था।
युवराज उठते हुए :- ok, डेड!!बाय..(फिर विराट क़ो खिंचते हुए )चल गधे.!!
मेहताजी जो काफ़ी सालो से विवेक के साथ है वो :- सर, युवराज बाबा क़ो ऑफिस का काम भी शिखना चाहिए.!!
विवेकजी :- वक़्त आने पर वो सिख जायेंगे मेहता.!फिलहाल उसके खेलने के दिन है. Let's enjoy it self.!!वो मुस्कुराते हुए ऑफिस चले गए।
(दूसरी तरफ --- पनाह अनाथालय )
जिसमे करीब 30 बच्चों के साथ दो लड़किया थी एक चिल्ला रही थी तो दूसरी हस रही थी।
"देखो, सेतानो!!तुम सब ना रुको."वो भागने लगी की उसके पैर रस्सी मे फ़स गए..
छोटी बच्ची तालिया बजाते हुई हस्ती है "ये ये, राधिका दीदी फ़स गई.. राधिका दीदी फ़स गई.!!
वो लड़की जल्लाते हुए "अनिका, हसना बंद कर.."
अनिका बच्चो क़ो समझा कर अंदर भेज देती है। और राधिका क़ो छुड़ाती है.. और हसने लगती है की एक बुड्ढी औरत आ के उसके कान पकड़ लेती है.. जिसे देख राधिका :- बिलकुल सही, दादी और खींचो इसके कान.!!
अनिका बच्चों सा मुँह बना के दादी क़ो देखती है. तो दादी उसके कान छोड देती है. "चलो खाना खा लो.!!"
[अनिका शर्मा -गोरा रंग, ब्राउन और काले मिक्स बाल, डार्क ब्राउन आँखे, पतले गुलाबी होंठ,5.4 हाईट, प्यारी सी लड़की जो बोल नहीं सकती.. अपनी दादी के अलावा इनका कोई नहीं है।
राधिका भट्ट - सावला पर सुन्दर रंग, कालि आंखे, हाफ पोनी बाल, सुंदर नेने नक्स वाली लड़की, जो एकदम तेज तरार है.. अनिका इसकी जान है..]
अनिका (इशारे ):-बच्चों क़ो बताया की कल उनका ड्रइंग कमिटीशन है।
राधिका :- हाँ, मेरी माँ बता दिया, अब खाने पे ध्यान दे.. वैसे भी चूहें कूद रहे है..
दादी :- हाँ, बच्चे चलो खाना शुरू करो.!!
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