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राजस्थान सीमा गुप्ता अलवर के बारे में

मुझे लेखन कला का बहुत शौक है।मैअपने मन के उठेसभी रस युक्त भावों को का्वय रूप में लिख कर सुख की अनभूति करती हूं......👏✍️

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राजस्थान सीमा गुप्ता अलवर की पुस्तकें

काव्य मंजरी

काव्य मंजरी

जब मेरे शब्द मन के भावों से सन कर काव्य रूप में कागज पर उतर जाएं तो काव्य मंजरी की रचना होती है।

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काव्य मंजरी

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जब मेरे शब्द मन के भावों से सन कर काव्य रूप में कागज पर उतर जाएं तो काव्य मंजरी की रचना होती है।

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राजस्थान सीमा गुप्ता अलवर की डायरी

राजस्थान सीमा गुप्ता अलवर की डायरी

नारी सीमांजलि; नारी के प्रत्येक पड़ाव को अपने शब्द देकर काव्य रूप में लिखती हूं।

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राजस्थान सीमा गुप्ता अलवर की डायरी

राजस्थान सीमा गुप्ता अलवर की डायरी

नारी सीमांजलि; नारी के प्रत्येक पड़ाव को अपने शब्द देकर काव्य रूप में लिखती हूं।

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कवितावलरी

कवितावलरी

अपनी सरल भाषा से सरल शब्दों से अपने मन के भावों को काव्य में लिख कर आप सभी के साथ अपनी पुस्तक "कवितावलरी" द्वारा साझा करना चाहती हूं ।

5 पाठक
3 रचनाएँ

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कवितावलरी

कवितावलरी

अपनी सरल भाषा से सरल शब्दों से अपने मन के भावों को काव्य में लिख कर आप सभी के साथ अपनी पुस्तक "कवितावलरी" द्वारा साझा करना चाहती हूं ।

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-प्रेम की ओर

-प्रेम की ओर

प्रेम,प्रीत या इश्क़ रूह से होता है तो दिव्यता को दर्शाता है,वह प्रेम तन का नहीं मन के भावों से जुड़ता है और हां,ऐसा जुड़ता है कि कभी खत्म ही नहीं होता । वासना की ओर नहीं वह उपासना से निभता है। तनिक देर का नहीं,अमर होता है।युग युग तक उसका जिक्र होत

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-प्रेम की ओर

-प्रेम की ओर

प्रेम,प्रीत या इश्क़ रूह से होता है तो दिव्यता को दर्शाता है,वह प्रेम तन का नहीं मन के भावों से जुड़ता है और हां,ऐसा जुड़ता है कि कभी खत्म ही नहीं होता । वासना की ओर नहीं वह उपासना से निभता है। तनिक देर का नहीं,अमर होता है।युग युग तक उसका जिक्र होत

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कवितांजलि

कवितांजलि

जब मेरे शब्द मन के भावों से सन कर काव्य रूप में कागज पर उतर जाएं तो काव्य मंजरी की रचना होती है।

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कवितांजलि

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राजस्थान सीमा गुप्ता अलवर के लेख

सत्य को समझें नही!!

5 अप्रैल 2024
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         -सत्य को समझें नही सत्य की राह से भटक रहा है, सत्य की खोज को मुकर रहा है। चकाचौंध में भेंड़चाल चल रहा है, जीवन क्या है!नहीं समझ रहा है। रिश्तों को भी नोटों से गिन रहा है, अपनों को पराया

महाशिवरात्रि

8 मार्च 2024
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महाशिवरात्रि आया,आया है महाशिवरात्रि, चलो, सब मिल महाभिषेक कर आएं, फाल्गुन माह,कृष्ण पक्ष,तिथि चतुर्दशी, का महाशिवरात्रि मनाएं। आक ,धतूरा,चन्दन,रोली,मौली,अबीर,तिल और अक्षत से थाली सजाएं, कच्च

नारी तुम हो महान

7 मार्च 2024
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              -नारी तुम हो महान नारी तुम तो हो महान, नारी तुम सकल गुणों की खान। धर्म, कर्म, नेह, प्यार , त्याग, धार सहनशीलता और अनुराग। मायके या खुद का ससुराल, दोनों घर की रखती तुम लाज। अपनी

शिक्षकों को प्रणाम

2 सितम्बर 2023
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  - शिक्षकों को प्रणाम  तराशते शिद्दत से शिक्षक   आम से बना देता है खास   जिससे जीवन में छाएं उल्लास।  दीपक जैसै जलता शिक्षक फैला देते चहुं ओर  प्रकाश मेरे जीवन के शिक्षकों को है प्रणाम।  है

बंधन पाक

22 जून 2023
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उस बंधन की दूं दाद, न उम्र की ग़लती का हाथ। न जन्म का पुराना साथ, ऊपर से बनी जोड़ी रब हाथ। यह प्रणय बंधन था खास, बंधा  पावन रीति-रिवाज। तन-मन से एक साथ, लगाव, सामंजस्य, सौहार्द । समर्पण और विश

मनमीत प्रथम आलिंगन

22 जून 2023
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-मनमीत प्रथम आलिंगन प्रथम आलिंगन उनका पाकर तन में रोमांच छाया। स्पर्श प्रीत भरी छुअन। गौर कपोलों पर लाली लाया। प्रेम रस की छलकी आंखें,होंठों पर मुस्कान लाया। मधुर मिलन सजन संग,सोलह श्रृंगार भ

मनमीत प्रथम आलिंगन

22 जून 2023
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-मनमीत प्रथम आलिंगन प्रथम आलिंगन उनका पाकर तन में रोमांच छाया। स्पर्श प्रीत भरी छुअन। गौर कपोलों पर लाली लाया। प्रेम रस की छलकी आंखें,होंठों पर मुस्कान लाया। मधुर मिलन सजन संग,सोलह श्रृंगार

हे गोवर्धन धारी

25 अक्टूबर 2022
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गौ माता की महिमा है अपरम्पार  गौ में करते तेंतीस करोड़  देव निवास मोझदायिनी पुण्यदायिनी करती है उद्धार  गाय माता तेरी महिमा का नही है पार तेरी  सेवा-पूजन से मिले सहज चारो धाम बिन स्वार्थ  करती मा

राष्ट्रीय ध्वज

1 अगस्त 2022
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हमारा राष्ट्रीय ध्वज तिरंगा समृद्ध संस्कृति से है रंगा उन्मुक्त गगन में लहराता झंडा केसरिया रंग मस्तक सजता श्वेत रंग ह्रदय में है बसता मध्य मेंअशोक चक्र विराजता आंचल में हरियाली बिखेरता बल,शांत

-बदल समय

21 जुलाई 2022
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तीन दिन तक अछूत की तरह रहना कही नही जाना,अलग धरती का बिछौना मिलता रहने को घर का अंदर का कोना अलग खाना किसी वस्तु को ना छूना महावारी के  पुराने समय वो दिन सब कहते गंदगी है अभी किसी को अपना मुंह न

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