16 मार्च 2017
मापनी २२ २२ २२ २२मुक्तकमधुमास दिलाशा बोली की पट पीली चुनरी चोली कीरंग दे छैला लाल महलियाउबटन लागी होली की।।-१सजना तुम बहुत अनारी होलाए सूखी पिचकारी हो जाओ सौतन के घर जाओजहँ बसंती रात गुजारी हो।।-2 महातम मिश्र, गौतम गोरखपुरी