मोहित एक खूबसूरत और आकर्षक नवजवान है, वह एक एड एजेंसी में H R है, क्लाइंट से लेकर प्रोडक्ट लॉन्च तक में उसका इन्वॉल्व मेंट रहता है,एजेंसी का मालिक सुधीर तो पूरी तरह से उसके ही भरोसे रहता है ,वह तो ऑफिस सिर्फ एंजॉय करने आता है, उसके ऑफिस में जितने भी लोग हैं सब बेचलर है, ऑफिस में एक सुंदर और सेक्सी लड़की हीना सुधीर की सेक्रेट्री कम गर्ल फ्रेंड ज्यादा है, ऑफिस में मोहित के बाद उसी की चलती है,
वैसे उसने मोहित पर भी कमांड करने की कोशिश की थी पर मोहित ने उसकी एक न चलने दी, उसने सुधीर से कह दिया कि अगर ये मुझे डिस्टर्ब करेगी तो, मैं काम छोड़ दूंगा, सुधीर ने हीना को प्यार से समझा दिया की इसके बिना मैं भी जीरो हूं तो वह उस से दूर रहती है,
ऑफिस में एक नई स्टाफ दिल्ली से आई है जो वहां की एक बड़ी एजेंसी में क्रिएटिव थी, वह दिखने में बहुत ही सुंदर थी,हीना तो उसके सामने एकदम फीकी पड़ रही थी, उसका नाम था दिव्यानी , 5 ft 6 इंच की हाईट दूध सी गोरी छरहरे बदन में वह किसी भी हीरोइन को मात दे सकती थी, पहले तो सुधीर उस पर चांस मरना चाहता था, पर हीना के रहते वो पॉसिबल नही था पर कभी मौका तो आयेगा की बात पर शांत बैठ गया ,सभी बेचलर के होश तब उड़ गए जब वह मोहित के आगे पीछे घूमने लगी , मोहित भी इस बात से खुश हो गया की बिना मेहनत किए इतनी सुंदर स्मार्ट लड़की मिल गई थी जिसे पाने के लिए पता नही कितने पापड़ बेलने पड़ते,!
रात वह अपने कमरे में बैठा था , उसकी मां का फोन आता है तो वह कहता है " मां ,कैसी हो , डिनर किया की नही पापा क्या कर रहे हैं, "! मां कहती हैं " सब ठीक है, बस तु अब शादी कर ले और हम भी यहां से सब बेचकर मुंबई में ही घर लेकर तेरे साथ रहेंगे अब अकेले नहीं रहा जाता, ! वह कहता है " कर लूंगा शादी भी मां,पहले कोई ढंग की लड़की तो मिले, "! उसकी मां कहती है," एक लड़की है ,वहीं मुंबई में ही है , यह लड़की पड़ोस में शर्मा जी है न उनकी भांजी है, एक बार उस से मिल ले, पसंद आई तो कर ले ,में उसका फोटो भेजती हूं, "! मां फ़ोन काट कर फोटो भेजती हैं, वह फोटो देखता है लड़की सुंदर स्मार्ट तो है पर दिव्यांगी जैसी नही है, हा अगर दिव्यांगी नही आई होती तो यह बैटर है पर दिव्यांगी नही होती तो यह एकदम चलती है,
वह सोने जाता है तभी दिव्यांगी का गुड नाईट का मैसेज आता है तो वह खुशी से उछल पड़ता है, वह सोच तो रहा था की उसे मैसेज करे पर अभी पूरी तरह से खुला नही था, और यह भी अंदाजा नहीं था कि उसके मन में क्या है, वह मैसेज का जवाब देता है, और खुशी खुशी सो गया,!
सुबह उसका गुड मॉर्निंग का मैसेज देख वह भी मैसेज करता है, तो वह उसे कॉल करती है और कहती है " हैलो सर , मैं शायद आपके पास ही कही रह रही हूं ये वर्सोवा लिंक रोड पर ही है अगर आपको प्रोब्लम नहीं हो तो मुझे भी साथ ले लीजिए,! मोहित को तो बिन मांगी मुराद मिल गई, वह फटाफट तैयार होकर उसके घर के पास पहुंचकर कॉल करता है तो वह दो मिनट में आ जाती है, वह नीचे आकर वेट ही कर रही थी, दोनो साथ ऑफिस पहुंचते हैं,
आज मोहित की चाल में अलग ही अंदाज था, ऑफिस के बाकी स्टॉफ तो अंदर ही अंदर जल भुन जाते हैं पर क्या कर सकते हैं, अब दिव्यांगी का ज्यादा तर समय मोहित के केबिन में ही बीतने लगा, वैसे भी उसको रिपोर्टिंग तो मोहित को ही करनी पड़ती थीं, !
धीरे धीरे दोनो रात में डिनर करके ही घर जाते थे, मोहित उसे पूरा मुंबई घुमा चुका था, मोहित ने अपनी मां से दिव्यांगी के बारे में बता चुका था ,दिव्यांगी की मां भी कई बार मोहित से बात कर चुकी थी, पर दोनो में से किसी ने अभी तक प्रपोज नही किया था,!
रात में दिव्यांगी की मां कहती है बेटी अब शादी कर लो सब कुछ ठीक है, अब और टाइम पास नही करना है, वह कहती हैं " मम्मी मैं तो आपके बताए रास्ते पर ही चलती हूं ,अब देखो ना यहां आते ही ऑफिस के बॉस को पटा लिया तो दूसरो की गंदी नजरो से बच गई, बाकी भी हो जायेगा, ।
मोहित की मां भी बोलती है , " बेटा अब तो उसे प्रपोज कर दो धीरे धीरे छह महीने हो गए ये कैसा प्यार है अभी तक किसी ने किसी को प्रपोज नही किया, कल सुबह पहला काम यही करना,!
सुबह दिव्यांगी का गुड मॉर्निंग के साथ साथ एक मैसेज भी आया की वह उस से कुछ पर्सनल बात करना चाहती है, तो वह भी मैसेज कर दिया की वह भी कुछ कहना चाहता है, ।
दोनो ऑफिस में मिलते हैं, दिव्यांगी उस से कहती है, कि अभी ऑफिस में नही , लंच में बात करेंगे , मोहित भी सोचता है हां ये ठीक रहेगा पहली बार प्रपोज करेंगे तो अकेले में बैटर होगा, .।
दोनो लंच के लिए बाहर स्टार होटल में जाते हैं, लंच का ऑर्डर दिया गया, मोहित कहता है " हां क्या बात करनी थी "! वह अंदर ही अंदर से एक्साइटेड हो रहा था, दिव्यांगी कहती है, " यार मेरी मम्मी मेरी शादी यहां ही करना चाहती है, वह चाहती है कि कोई छोटा बैंक्वेट देख कर उसमे अभी सगाई कर लेते हैं और उसके बाद शादी ,शादी से पहले मम्मी भी शिफ्ट हो जायेंगे, तो मैं चाहती हूं ये हाल या बैंक्वेट बुक करने की जिम्मेदारी आप ले लो ,बाकी मम्मी के आने के बाद कर लेंगे ,
मोहित कहता है" इतनी जल्दी सब कुछ कैसे करेंगे ,! वह कहती है यार छह महीने से चल रह है अब और कितना टाइम चाहिए तुम टेंशन मत लो सिर्फ हाल बुक करो ,"! वह हां में सर हिलाता है ,उसके दिल में हजारों लड्डू एक साथ फुट रहे थे, तभी वह कहती है और हैं आज डिनर मेरी तरफ से रहेगा मैं तुम्हे अपने होने वाले हसबैंड से भी मिलवा दूंगी , ,यह सुनते ही मोहित के दिल के सभी लड्डू पिचक गए, वह आसमान से जमीन पर आ गिरा ,दिव्यांगी उसकी हालत समझ कर बोली " यार तुम मेरे सबसे बेस्ट फ्रेंड हो इतना तो हक बनता है ,!
मोहित की आंखो में आंसु आते है वह वाशरूम के बहाने जाता है वहा जाकर वह खूब रोता है, फिर बाहर आता है तो दिव्यांगी को बात करते हुए सुनता है वह अपनी मां से कह रही थी," मम्मी उसका चेहरा देखने लायक था, आपका आइडिया एकदम सही रहा उसको पटाने की वजह से कोई मेरे आस पास नही फटका और मैं भी उसे ऐसा ट्रीट करती रही जैसे उसको चाहती हूं, बेचारा बहुत बेवकूफ है, "! मोहित का मन किया की उसका गला दबा दूं पर वह उतना हिम्मत वाला नही था वह जाकर टेबल पर बैठता है तभी वह आकर कहती है " सॉरी डियर चले ,मैने बिल पे कर दिया है, "! मोहित लड़खड़ाते कदमों से चलता है उसकी मां का कॉल आता हैं तो वह कहता है " मां तुम शर्मा जी की भांजी का रिश्ता तय कर लो ,! उसकी मां पूछती है" क्या हुआ तो वह कुछ नहीं बोलता है और फोन काट देता है और लूटे हुए जुआरी की तरह अपनी कार में बैठ जाता है,।