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तम से प्रकाश की ओर

17 नवम्बर 2021

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तम के रास्ते हैं घेरे हमें
कैसे बचे हर तरफ है घनघोर अंधेरे।।
लहरदार लंबे रास्तों के अफसाने 
लंबे कठिन है रास्ते हर तरफ है वीराने।।
उदासीन परिस्थितियां हैं गमगीन बहुत 
चहुंओर निराशा देखो कैसे पसरा दामन।।
                        गहन अंधेरे को चीर अब तो,
                        आशा तुझे जगना होगा। 
                        निज उल्लास भर जीवन में।
                        प्रकाश तुझे तम को हराना होगा।।
                        बाधा विघ्नों को तोड़ तुझे।
                        आगे से आगे बढ़ना होगा है।।
                        है मनुज निज अवगुण छोड़ अब।
                        पथ से मंजिल तक बढ़ते हुए।।
                        तुझे कांटों को फूलों में बदलना होगा।
                        तम के अंधेरे दूर हटा कर।।
                        प्रकाश का उजाला भरना होगा।
                        तुझे प्रकाश का उजाला भरना होगा।।
अनुराग मिश्रा

अनुराग मिश्रा

बहुत ही सुन्दर

17 नवम्बर 2021

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