कविता
आज नहीं तो कल बदल दी जाएगी
तस्वीर दुनियाँ कि बदल दी जाएगी
हालत एक से होते नहीं हर एक के
तूफानों बन बिजलियाँ ही टकराएगी
माना हालत के मारे हम सह रहे है
ज़दोजहद से राह नई निकल ही आएगी
जब कही स्याद थक कर चला जाएगा
आकाश में चिड़ियाँ उड़ कर चली जाएगी
आज आँखों से सावन बरसा कर जाएगी
पीर कि टिस "अरु" दिल में उतर ही जाएगी
आराधना राय "अरु"