मेरी डायरी में आप मेरे विचारों से जुड़ने के साथ ही साथ अपने मन की बातें भी मुझसे साझा कर सकते हैं।
क्योंकि मेरा मानना है कि जब तक दूसरों से जुड़ते नहीं तब तक कोई हमारे मन और मस्तिष्क के भावों को कैसे समझ सकता है।
तो फिर देर किस बात कि आप समीक्षा के माध्यम से अपनी प्रतिक्रिया देकर आज से ही हमारे साहित्य के सफर में हमारा साथ दीजिए हम और आप मिलकर लिखते हैं।
मीनू की डायरी 🙏