shabd-logo
Shabd Book - Shabd.in

नारी जीवन भाग - 1

Ekta Pathak

4 अध्याय
0 लोगों ने खरीदा
4 पाठक

नमस्कार 🙏🙏🙏 मेरे प्रिय पाठकों मैं अपनी पहली रचना नारी जीवन लिखने जा रहीं हू....  इसमे एक नारी एक स्त्री को कितने ही रूप रंग एक ही जीवन मे अपनी एक ही जिंदगी मे जीने को मिलते है ये भी दिखाना चाहूँगी...  तो चलिए चलते है अपने इस नए और जाने पहचाने से नारी के सफ़र पर  हमने अक्सर ये देखा है कि सभी की जिंदगी मे जीवन हर मोड़ पर नित नए सफर और मंजिल पर चलना सिखाती है और ये सफर ही मंजिल तक जाने का नाम है यही तो जिंदगी है..  फिर चाहे वो कोई भी क्यो ना हो ll चाहे कोई गरीब हो या अमिर बेटा हो या फिर बेटी किसी भी वर्ग किसी भी प्रांत की ही बात क्यों ना हो....  और वही अगर हम बात एक बेटी की करे तो उसकी जिंदगी तो होती ही है बहुत सी परीक्षा से लड़ने वाली हर वक्त बस जिंदगी हर कदम हर घड़ी एक परिक्षा होती हैं ll और एक बेटी एक नारी के जीवन मे कभी ना ही परीक्षा खत्म होती है ना ही उनसे लड़ कर जितने कि उम्मींद...  तो ऐसी ही एक बेटी... एक नारी की जिंदगी को हम आपसे बांटने लाए है ll तो आइये और चलिए हमारे साथ एक बेटी एक स्त्री के इस सफर मे और अपना साथ बनाए रखियेगा ll तो ये सफर है सीना का ll सीना जो हमारी इस कहानी की एक महत्वपूर्ण किरदार है ll तो चलिए जानते है सीना को कैसी है सीना की जिंदगी कैसी है उसकी जिन्दगी जीने की चाहत ll और साथ ही देखते है सीना कि जिंदगी मे आने वाली कुछ रोचक परीक्षाओ को कैसे सीना उन्हें सुलझा पाएगी और कैसे जिंदगी को जी सकेगी अपनी चाहत के according ll हम सभी ये जानते है कि जीवन में हमेशा वो नही होता जो भी हम चाहते हैं या फिर जो हम सोचते हैं ll जिंदगी हमेशा ही अपने रंग लेके आती है ll  फिर भी हम इन्तजार करते हैं या ये कहे कि विश्वास रखते है की जो हो रहा है अछा हो रहा है और जो होगा वो भी अच्छा ही होगा ll और ये हमारी सीना जी जो है वो तो हमेशा से ऐसी ही है ll और इसी बात पर अपनी जिंदगी जीती है ll कभी कोई सोच नहीं बस सभी की खुशी मे खुश होना और जिंदगी जैसे चलाए चलते जाना ll जो इस बात पर भरोसा करती है कि जो है अच्छा है और जो होगा वो भी अच्छा ही होगा....  उसने हमेशा सभी की खुशियो में ही खुश रहना सिखा है ll जिसके अपने  छोटे छोटे से ख्वाब और सपने है सीना के उन सपनो मे ही उसकी सारी दुनिया समायी रहती है ll कुछ बड़ा नहीं कुछ खास नहीं.....  तो चलिए आगे बढ़ते है 

nari jivan bhag 1

0.0(0)

किताब पढ़िए