विभिन्न विषयों पर दोहे लिखे गये हैं इस किताब में ।
यह एक कहानी है जिसमें आपको एक लड़का और एक लड़की की कहानी बताई जाएगी, जिसमें यह दोनों अपनी 12वी कक्षा के बाद सरकारी नौकरी की तैयारी करने ट्यूशन जाते है और वहीं इनकी कहानी की शुरुआत होती है और कई मायने में वहीं इनकी कहानी का अंत भी हो जाता है।
मिलने की उमींद है ,तुमसे इंंतजार में हम बैठे है सब्र का बांध न टुटे प्यार की काश लगायें बैठे है जी न पाऊगा तेरे विना तन्हा न रह पाऊगा याद मुझे तेरी सताती है मै तुझ विन न जी पाऊगा टुटे न कसम मेरी तुझे भी याद रहे साथ साथ जीने की कसम खाए याद रहे
तिराहा मूल रूप से दो पीढियों के मध्य प्रेम की धारणा के अंतर को लेके लिखी गयी हैं | प्रेम त्रिकोण ( लव ट्रैंगल ) को एक अलग दृष्टिकोण से दिखाती यह कहानी गन्नू , सीमा , लेखक या रानू और नेहा से इतर समस्त युवा पीढ़ी का प्रतिनिधित्व करती हैं जो जीवन के कि
बहुत अलग और बहुत अजीब प्रेमकहानी थी उसकी, जो शायद कभी नही भुला पाएगी वो लेकिन क्या उसे पा सकेगी वो या अधूरी रह जाएगी एक अनोखी प्रेमकहानी, वो भी एक वैम्पायर के साथ?
ये एक प्रेम कहानी है। शाहिद और अलवीरा की.... जो एक घर में रह कर भी अलग अलग दुनिया जी रहे हैं। फिर कुछ मोड़ जो इन्हें एक दुसरे के पास लाकर एक रिश्ते में बांध देते हैं। यह एक परिवार की कहानी भी है जिसमें सब के मन में एक दुसरे के लिए सम्मान और प्रेम है
इस किताब में अपरिभाषित प्रेम को, शब्दो में समेटने की कोशिश की जाएगी प्रेम है शक्ति प्रेम है भक्ति प्रेम सत्य और प्रेम शिव है प्रेम है सुंदर
कहानी .. सफ़र इतना ही अच्छा जितना कम ज़िन्दगी हो, मुहब्बत ...की पाने की चाह...
इन्तजार ,सच्चे प्यार की कहानी है ।जिसमें कुछ सामाजिक कुप्रथाओं पर भी प्रकाश डाला गया है।दर्द, तडप ,साहस ,विश्वास सभी इस कहानी के प्रमुख तत्व हैं ।काल्पनिक होते हुये भी जीवन्तता कीअनुभूति कराती यह कहानी आपको अवश्य पसंद आयेगी ।
काव्य वह वाक्य रचना है जिससे चित्त किसी रस या मनोवेग से पूर्ण हो अर्थात् वह जिसमें चुने हुए शब्दों के द्वारा कल्पना और मनोवेगों का प्रभाव डाला जाता है। रसगंगाधर में 'रमणीय' अर्थ के प्रतिपादक शब्द को 'काव्य' कहा है। 'अर्थ की रमणीयता' के अंतर्गत शब्द क
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सबसे पहले आप लोगों को तहे दिल से शुक्रिया। आपकी लोगों की दुआएं चाहिए। मेरे कुछ चुनिंदा शेर आपकी नज़र में पेश-ए-खिदमत हैं।
एक ऐसी वेश्या की कहानी,जिसने अपने प्रेमी से केवल इसलिए विवाह करने से इनकार कर दिया वो नहीं चाहती थी कि उससे विवाह करके उसके प्रेमी का समाज में मान-सम्मान कम हो और अपने जीवन के अन्त समय में उसने अपने उसी प्रेमी का चेहरा देखकर ही सदा के लिए अपनी आँखें
यह किताब मेरी जिवन कथा और मेरे प्यार की है जो मुझे कभी मिला ही नही