आज की भागदौड़ भरी जिन्दगी में लोगों के पास अपनों के समय की बेहद कमी है। जिस तरह कारपोरेट कल्चर से उन्नति के अवसर खोले हैं, उससे रिश्तांे पर आंच आनी शुरू हो गई है। सबसे पहले तो लोग जल्द से जल्द अपने जीवन में सफलता की उंचाईयों को छू लेना चाहते हैं, वहीं दूसरी ओर कंपनी भी
इस बात में कोई दोराय नहीं है कि विवाह एक प्रेमभरे रिश्ते को मजबूती देता है, लेकिन इसका तात्पर्य यह नहीं है कि महज विवाह कर लेना ही रिश्ते को सुरक्षित रखने का तरीका है। वर्तमान समय में, भारत में तलाक के बढ़ते मामले यह साफतौर पर जाहिर करते हैं कि वैवाहिक रिश्तों को सहेजने के लिए अतिरिक्त प्रयासों की आव