प्रणाम
अपने जीवन में 2022 एक आनंदमय छवि छोड़ कर जा रहा है । उस छवि को सब अपने दिल में सजोकर रखे ।उसके लिए सबसे बढ़िया तरीका मैंने डायरी लेखन में पाया ।जब चाहो जब अपनी सुनहरी ,मन माफिक यादों को अपनी डायरी खोल कर पढ़ सकते है । 2022में कई नए मित्र बने जो जीवन में अविस्मरणीय बन गए। बालको की शिक्षा का कर्तव्य उसे पूरा करने की चाहत मन में हमेशा बनी रहती है । में अपनी तरफ से उसे पूरा करने का यत्न करता हूं। आज सुबह सबसे पहले उठते ही ईश्वर को नमन कर , मां को प्रणाम किया तत्पश्चात मैंने अपने मोबाइल पर स्टोरी लगाई ।जिसमे जीवन जीने की अभिलाषा का भाव था। में जिन ग्रुप में जुड़ा हुआ हूं उस समूह के लोगो ने प्रातः काल वंदनीय भगवान श्री कृष्ण के वंदनीय नाम राधे राधे के स्टीकर मिला ।
मां अपने काम काज में लग गई,छाछ किया,दूध तैयार किया और में बैठा हुआ अपने मोबाइल पर इन यादों को सहजने का प्रयत्न करने लगा ।
जीवन का एक वर्ष कैसे बीत गया ।मेरे अपने भावो पढ़िए,
बायस तेरे पल,बड़े बिंदास बन गए।
तुझे कैसे अलविदा कहे,जो जहां बन गए।।
बायस तेरे यादों के गुलदस्ते सजाए है हमने।
तू दूर ना जा , आइना था जिंदगी का जमाने में।।
आइना देख कैसे बायस ने , सजाई थी अपनी महफिल।
जीवन के हसीन पल,दे गया बायस कैसे भूले वो पल ।।
सुख ,दुख के चित्र उकेर गया ,रंग भरने आ रहा है तेईस।
सजाओ मित्रो उस जिंदगी के पट को, जिसमें होआनंद रंग ।।
बायस का प्रेम , तेईस में बन जाए जीवन बगिया की बहार।।
हम सबके जीवन में आनंद की बगिया खिलखिला यार ।।
h