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बचपन की अनमोल यादें....

2 मई 2022

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बहुत याद आये वो गुजरा ज़माना

वो मामी वो मामा वो नानी औ नाना

बड़ी खूबसूरत थी गर्मी की रातें

थी ठंडी हवायें और परियों की बातें

है बचपन में सीखा कहानी सुनाना

बहुत याद आये वो गुजरा ज़माना

सुबह उठ के जल्दी से नानी को जाते

वो रखती थी सबसे करौनी बचा के

करौनी में उनका वो शक्कर मिलाना

बहुत याद आये वो गुजरा ज़माना

न स्कूल जाने न कोई बहाने

चलें संग मिलके सब बेल्हा नहाने

वो पानी की छप..छप..वो सुंदर मुहाना

बहुत याद आये वो गुजरा ज़माना

कभी रात में होते आलू पराठे

हम ही पायें पहले थे बर्तन लड़ाते

बढ़े जो लड़ाई तो आते थे मामा

बहुत याद आये वो गुजरा ज़माना

वो मामी वो मामा वो नानी औ नाना

                       विमलेश कुमार



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बहुत सुंदर रचना आप भी मेरी रचना पढ़कर समीक्षा दें https://shabd.in/books/10080388

3 मई 2022

भारती

भारती

बहुत ही बढ़िया 👌🏻👌🏻

2 मई 2022

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