जब धुप लगी उसको तो ,
छाया कर दी उसने अपने ही सर का
पल्लु उड़ा
जब भुख लगी उसको ,
तब पेट उसका भरा ,
अपने हिस्से में आई आधी रोटी
भी उसको खिला
किन्तु - आश्चर्य हे या बिडम्ब्ना -
इतने बड़े घर में,
नहीं मिली उन दोनों को ,
अपना हि सर ढकने की थोड़ी
सि भी जगह !