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"अंधभक्ति,देश के युवा...और हम

7 मार्च 2018

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"दिन रात अंधेरे कमरों में पढाई करते करते, कोचिंग सेंटरो की मंहगी फिस और आंखो पर शीशे लगाकर ....गलियों मे आवारा घुमते रोजगार की आस में युवा कितने बेबस से लाचार हो गए हैं...लेकिन राजनेता चयन आयोगो के कर्मचारियों के साथ मिलकर ..नौकरियों को बेचने का ऐसा नंगा नाच करते हैं....कि सिवाय पकोङे तलने के युवा कुछ नही कर सकते...किसी भी चतुर्थ श्रेणी की नौकरी को ऊठाकर आप लोग देख लो....एमबीए, पीएचडी आवेदक तो आम हो गए हैं....जिनके बल पर ये देश विश्वशक्ति बनने का सपना देख रहा है.....एक क्लर्क की नौकरी के लिए दस लाख और सब इंस्पेक्टर इत्यादि के लिए तीस लाख रेट आम हो गया है...और युवा अब हिन्दू-मुस्लिम,दलित,बीजेपी और कान्ग्रेसी अंधभक्ति में जवानी खत्म कर रहे हैं...एक आइटी सेल के बंदे के अनुसार अगर हमारी बीजेपी सैलरी नही देती है तो हम शाम को ही कांग्रेस आईटी सेल ज्वाइन कर लेते हैं..इनको कोई फरक नही पङता बस दलों को रोटियां सेकनी हैं.....वो तो कुछ लोग बचे हैं...वरना देश तो कब का नीलाम हो गया होता....आज भी देश के 20 प्रतिशत लोगों के सर पर छत नही है ..क्योंकि अफसरो और नेताओं ने उनका हिस्सा खाया है...ऐसे ही वो आपकी मेहनत को बेच रहे हैं...इसलिए काबिल लोग नौकरियों में बाहर हो जाते हैं...क्योंकि पैसा बौलता है... हम युवा अगर गलत को गलत नही बोलेगें तो आपकी थाली से रोटी और गले से जबान छिन ली जाएगी...रह जाएगा तो सिर्फ भूखा नंगा देश.... जय हिन्द ,जय भारत विकास कश्यप
रेणु

रेणु

वाह ! क्या धारदार वार कलम का !!!!!!!!! जय हिन्द !!!! सत्यमेव जयते !!!

7 मार्च 2018

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"आदमी का शौषण और जिम्मेवार कौन"

12 फरवरी 2017
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"चोर बैठ कर ताले बनाते है.....ये बात अब साफ हो गई है कि कुछ लोग अपने स्वार्थ के चक्कर हद से ज्यादा गिर चुके हैं ...चाहे नये कर्मचारियों का शौषण करना हो या खुद के प्रमोशन के लिए चापलूसी करनी हो.....आज इस देश के हरेक संस्थान मे यही हो रहा है....चंद बकवास आदमी प्रबंन्धन के साथ मिल कर आदमी की शारीरीक,मा

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"शहीदों की शहादत और सरकार की ड्रामेबाजी"

24 अप्रैल 2017
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आज छतीसगढ के सुकमा जिले मे नक्सलियों से लड़ते हुए मां भारती के 26 के लगभग जवान शहीद हो गए....और ये भी हर बार की तरह भूला दिया जाएगा....सरकार के लोग 2-4 दिन चिल्लाऐगें...हम नामोनिशान मिटा देगें नक्शलवाद का वगैरह वगैरह...फिर इसको दबाने के लिए कोई नया मुद्दा लाया जाऐगा...अरे देश के बाहर सर्जिकल स्ट्राइक

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"सरकार और हड़ताल के आसार क्यों"

7 जुलाई 2017
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"इस देश में सरकारी कर्मचारी काम नहीं करते भला कैसे.....अब रेलवे को ही ले लो भाजपा के आने से पहले रेलवे में 1600000 कर्मचारी काम करते थे और 2 साल में ही सारी ट्रेने रोबोट चला रहे हैं..मेन्टेनेस रोबोट संभाल रहे हैं...स्टेशनों का सारा जिम्मा GPS प्रणाली द्वारा रोबोटों ने संभाल लिया है...हजारों टन माल ढ

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"अंधभक्ति,देश के युवा...और हम

7 मार्च 2018
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"दिन रात अंधेरे कमरों में पढाई करते करते, कोचिंग सेंटरो की मंहगी फिस और आंखो पर शीशे लगाकर ....गलियों मे आवारा घुमते रोजगार की आस में युवा कितने बेबस से लाचार हो गए हैं...लेकिन राजनेता चयन आयोगो के कर्मचारियों के साथ मिलकर ..नौकरियों को बेचने का ऐसा नंगा नाच करते हैं....कि सिवाय पकोङे तलने के युवा क

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"आंखो के अधूरे ख्वाब....

4 जुलाई 2018
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"कुछ अधूरे ख्वाब लेकर, इन तरसती आँखों में,तङफ उठूँगा रातों में,कैसे मैं जी पाऊंगा....किया वादा जो तोङ रहे हो,छुपके से मुंह मोड़ रहे हो,साथ मेरा जो छोङ रहे हो,मैं ना छोङ पाऊँगा...मन-मिलन का संसार मेरा था,बाकि ना कोई वार मेरा था,सांसों में इकरार तेरा था,हाथ मेरा तुम छोङ रहे हो...मैं ना छोङ पाऊँगा...जब

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