इस संसार में भगवान का नाम भगवान से बड़ा है ! नामी की पहचान नाम से ही होती है ! नाम की महिमा का गुणगान आदिकाल से होता चला चला आया है ! नाम की शक्ति , नाम का आकर्षण एवं नाम का प्रभाव सर्वविदित है ! किसी भी व्यक्ति की पहचान दो प्रकार से होती है ! प्रथम नाम एवं द्वितीय उसका रूप ! जिसमें नाम ही सर्वश्रेष्ठ है क्योंकि बिना नाम के रूप का कोई महत्व नहीं है | प्रस्तुत पुस्तक के माध्यम से हम नाम की महिमा जानने का प्रयत्न करेंगे !
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