वैश्विक आतंकवाद मानवता के अस्तित्व के लिए, अब तक का सबसे भयावह खतरा बन चुका है। मानव-जनित महामारियों और सर्व-संहारक हथियारों के इस दौर में, हरेक इंसान भविष्य में मानवता के अस्तित्व पर मंडराते विनाशकारी खतरों की आशंकाओं से सहमा हुआ है। अनेक विश्वप्रसि
प्रेम, विवाह एवं तलाक आदि प्रश्नों का समाधान बताने वाली यह अनोखी पुस्तक है। इसमें हस्तरेखाओं एवं लक्षणों का विस्तृत विवरण है। जातक की समस्याओं का सचित्र और विधिपूर्वक समाधान दिया गया है। विवाह में देर क्यों हो रही है? विवाह कब तक होगा? विवाह अथवा प्र
सूरदास जी हिन्दी साहित्य में भक्तिकाल के प्रसिद्ध और महान कवि थे। सूरदास जी भगवान श्रीकृष्ण के अनन्य उपासक और ब्रजभाषा के श्रेष्ठ कवि माने जाते हैं। उनकी रचनाएं दिल को छू जाती हैं। ऐसे में उन्हें हिंदी साहित्य का सूर्य भी माना जाता है। सूरदास जी ने
वास्तुशास्त्र एक विज्ञान है। अत: वास्तुदोषों का निवारण भी वैज्ञानिक तरीके से ही करना चाहिए। वास्तुदोष होने पर किसी भी प्रकार के टोने-टोटके, पूजा-पाठ, यंत्र-तंत्र-मंत्र, पिरामिड, श्री यंत्र, कुछ गाड़ना या लगाना सब व्यर्थ होता है। यदि किसी मंदिर का वास्
Reading books is a kind of enjoyment. Reading books is a good habit. We bring you a different kinds of books. You can carry this book where ever you want. It is easy to carry. It can be an ideal gift to yourself and to your loved ones. Care instructi
सत्य का हमारे दृष्टि में मूल्य नहीं है इसलिए हम विश्वासी बने हुए हैं। सत्य का हमारी दृष्टि में मूल्य होगा, तो हम विश्वासी नहीं हो सकते, हम खोजी बनेंगे। हमारी प्यास होगी, हम जानना चाहेंगे। ऐसा ओशो ने कहा है और उनकी इस किताब में आपको सत्य की प्यास क्या
सूरसागर में लगभग एक लाख पद होने की बात कही जाती है। किन्तु वर्तमान संस्करणों में लगभग पाँच हजार पद ही मिलते हैं। विभिन्न स्थानों पर इसकी सौ से भी अधिक प्रतिलिपियाँ प्राप्त हुई ह तक है इनमें प्राचीनतम प्रतिलिपि नाथद्वारा (मेवाड़) के सरस्वती भण्डार में
In the Sufi poetry tradition, the name of the Bulleshah is taken with great respect and respect. Today, Baba Bulleshah, who has given message of public awareness through the medium of social evils, religions and rituals, through his confessions, is s
"इस उपन्यास में प्राग्वेदकालीन नर, नाग, देव, दैत्य-दानव, आर्य, अनार्य आदि विविध नृवंशों के जीवन के वे विस्मृत-पुरातन रेखाचित्र हैं, जिन्हें धर्म के रंगीन शीशे में देखकर सारे संसार ने अन्तरिक्ष का देवता मान लिया था। मैं इस उपन्यास में उन्हें नर-रूप मे
Kya Kahate Hain Puran Read more
यह पुस्तक अलग-अलग भागों में प्रकाशित होगी। इस भाग में एक अध्याय है। इस अध्याय में कच्छ और देवयानी, राजा ययाति तथा पुरुवंश का वर्णन है।
Agni Puran Read more
उपनिषदों में वर्णित "द्वा सुपर्णा सयुजा सखाया" जैसी बात है यह। शायद यह उससे भी थोड़ा अलग है क्योंकि तब मैं किसी रस में होता हूँ तो वहाँ कोई हिस्सा मेरा अलग बैठा साक्षी वाक्षी नहीं रहता बल्कि मैं पूरा का पूरा उस रस से युक्त हो जाता हूँ। जीवन को उसमें
यह सद्ग्रंथ - "एक फक्कड़ मसीहा ओशो" विनाश की ओर तीव्रता से अग्रसर हो रहे इस सुन्दर ग्रह पृथ्वीको बचाने एवं संवारने के लिए संवेदनशील प्रतिभाशालियों, हृदयवान सृजनशील एवं अज्ञात के अभियान में निकलने वाले दुसासियों को सम्बोधित, उद्बोधन, प्रबोधित करुणापूर